स्टिंग – 1
स्थान- आरटीओ के बाहर एक दुकान समय- दोपहर 3 बजे रिपोर्टर- भाई, मुझे लाइसेंस बनवाना है। ब्रोकर- लाइट या हैवी?रिपोर्टर- कौन-कौन से कागज लगेंगे? ब्रोकर- आधार कार्ड और मोबाइल नंबर दे दो। रिपोर्टर- कितने दिन में बनकर आ जाएगा?ब्रोकर- कागज भेज दो, एक महीने बाद बस फोटो कराने आना पड़ेगा।रिपोर्टर- खर्चा कितना लगेगा? ब्रोकर- वैसे तो 3500 रुपए लगते हैं, आप तीन हजार दे दो।
स्टिंग 2
स्थान- दूसरी दुकान, आरटीओ के पास समय 3.30 बजे रिपोर्टर- मेरे भाई का ड्राइविंग लाइसेंस बनवाना है। ब्रोकर- यहीं है या बाहर?रिपोर्टर- बाहर है, यहां बुलाना पड़ेगा? ब्रोकर- आधार कार्ड और मोबाइल नंबर दे दो। एक महीने बाद फोटो कराने बुला लेना। रिपोर्टर- खर्चा कितना आएगा?ब्रोकर- तीन हजार रुपए लगेंगे। एक हजार अभी दो, दो हजार बाद में।रिपोर्टर- आरटीओ में तो कम लगता होगा? ब्रोकर- वहां दस चक्कर लगाओगे, खर्चा इससे भी ज्यादा हो जाएगा।
स्टिंग- 3
स्थान- तीसरी दुकान, आरटीओ के सामने समय 4 बजे रिपोर्टर- मेरी वाइफ का ड्राइविंग लाइसेंस बनवाना है। ब्रोकर- बन जाएगा, टू-व्हीलर और फोर-व्हीलर वाला। रिपोर्टर- कौन-कौन से कागज लगेंगे?ब्रोकर- उनका आधार कार्ड और मोबाइल नंबर दे दो।रिपोर्टर- टेस्ट ड्राइव भी देनी होगी क्या? ब्रोकर- नहीं, आप कागज भेजो और अभी एक हजार रुपये दो, बाकी तीन हजार बाद में। रिपोर्टर- पत्नी चलने में थोड़ी असमर्थ हैं, दिक्कत तो नहीं? ब्रोकर- पैर में दिव्यांगता है तो नियम से नहीं बनता, लेकिन दो-तीन हजार और लगेंगे, जुगाड़ करा दूंगा।