Jhalawar School Tragedy: राजस्थान के झालावाड़ में हुए स्कूल भवन हादसे ने शिक्षा विभाग से लेकर जिला प्रशासन तक को कटघरे में ला खड़ा किया है। इस दुखद घटना के बाद सरकार ने त्वरित कदम उठाते हुए कई बड़े फैसले लिए हैं। शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने शनिवार को भरतपुर में इस हादसे पर बड़ा बयान देते हुए कहा कि प्रदेश में 2,000 जर्जर स्कूल भवनों को चिह्नित किया गया है।
इनकी मरम्मत के लिए अगले दो वर्षों में 257 करोड़ रुपये का बजट मंजूर किया गया है। उन्होंने निर्देश दिए कि जब तक मरम्मत कार्य पूरा नहीं होता, तब तक जर्जर कक्षाओं में ताले लगाए जाएं।
जर्जर भवनों में पढ़ाई पर रोक
मदन दिलावर ने स्पष्ट किया कि जर्जर भवनों का जीर्णोद्धार धीरे-धीरे होगा, क्योंकि एक साथ सभी भवनों की मरम्मत संभव नहीं है। उन्होंने कहा कि ऐसी घटनाएं दोबारा न हों, इसके लिए हम सजग हैं। जर्जर कक्षाओं में ताले लगाए जाएं। यदि कोई वैकल्पिक व्यवस्था नहीं है, तो बच्चों को नजदीकी स्कूल में पढ़ाया जाए। मरम्मत के बाद ही बच्चों को वापस शिफ्ट किया जाए। बच्चों की जान जोखिम में नहीं डाली जा सकती। इसके अलावा, जिन स्कूलों में पिंक टॉयलेट की सुविधा नहीं है, उनकी जांच के भी आदेश दिए गए हैं।
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MLA LAD फंड में किया बदलाव
मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने भी इस हादसे के बाद स्कूलों और अन्य सरकारी भवनों की मरम्मत को प्राथमिकता देने के निर्देश दिए। उन्होंने डांग, मगरा, और मेवात क्षेत्रीय विकास योजनाओं के तहत मरम्मत के लिए बजट सीमा को 15% से बढ़ाकर 20% करने की घोषणा की।
साथ ही, विधायक स्थानीय क्षेत्र विकास योजना (MLA LAD) में बदलाव करते हुए विधायकों को उनके वार्षिक आवंटन का 20% हिस्सा स्कूल, आंगनबाड़ी, पंचायत भवन, और डिस्पेंसरियों जैसे सरकारी भवनों की मरम्मत के लिए उपयोग करने की अनुमति दी गई है। पहले यह सीमा काफी कम थी, जिससे मरम्मत कार्य में देरी होती थी।
मुख्यमंत्री ने सभी विधायकों से अपील की कि वे अपने क्षेत्रों में जर्जर भवनों की मरम्मत के लिए फंड की सिफारिश करें। इस कदम का मकसद बच्चों की सुरक्षा सुनिश्चित करना और भविष्य में झालावाड़ जैसे हादसों को रोकना है। इसके अतिरिक्त, 2025-26 के बजट में 5,000 आंगनबाड़ी केंद्रों की मरम्मत के लिए 50 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं।
प्रति मृतक 10 लाख रुपये का मुआवजा
हादसे में सात बच्चों की मौत और 28 बच्चों के घायल होने के बाद सरकार ने पीड़ित परिवारों के लिए प्रति मृतक 10 लाख रुपये के मुआवजे की घोषणा की है। घायल बच्चों के इलाज का खर्च सरकार वहन करेगी। शिक्षा मंत्री ने पीड़ित परिवारों को एक सदस्य को संविदा पर नौकरी देने का आश्वासन दिया। स्कूल के प्रिंसिपल और चार शिक्षकों को निलंबित कर उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिए गए हैं।
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