‘ऑपरेशन दिल्ली सफदरगंज’ से बच नहीं पाया शराब तस्करी का बड़ा नेटवर्क चलाने वाला दीवान सिंह, साइक्लोनर टीम के हत्थे चढ़ा
आरोपी दीवानसिंह राजस्थान, पंजाब और हरियणा से अवैध शराब लाकर अपने गृह राज्य गुजरात में बेचता। मूल रूप से गुजरात राज्य के दीवान के विरुद्ध राजस्थान के कई जिलों में एक दर्जन से अधिक प्रकरण दर्ज हैं।
साइक्लोनर टीम ने ऑपरेशन दिल्ली सफदरगंज के तहत बड़ी कार्रवाई करते हुए 30 हजार रुपए के इनामी आरोपी और अंतरराज्यीय शराब तस्करी माफिया दीवान सिंह निवासी बरसाना पुलिस थाना अंजार (गुजरात) को गिरफ्तार किया। दीवानसिंह सांचौर क्षेत्र के लक्ष्मण देवासी नागौलडी के साथ मिलकर शराब तस्करी का नेटवर्क चलाता था।
7 अगस्त 2023 को सांचौर जिला बनने के बाद स्थापना दिवस के दिन ही सांचौर चार रास्ता से कुछ दूर पहले तीन बदमाशों ने लक्ष्मण की गाड़ी पर 10 राउंड फायर कर उसे मौत के घाट उतार दिया था। जिसके बाद से दीवानसिंह नए तरीके से तस्करी के नेटवर्क को चला रहा था और प्रदेश में तस्करों के खिलाफ चलाई जा रहे विशेष अभियान से बचने को राजस्थान से दूरी बनाए हुए था। साइक्लोनर टीम ने दीवान को पालनपुर से गिरफ्तार किया।
इस तरह से चला था तस्करी नेटवर्क
आरोपी दीवानसिंह राजस्थान, पंजाब और हरियणा से अवैध शराब लाकर अपने गृह राज्य गुजरात में बेचता। मूल रूप से गुजरात राज्य के दीवान के विरुद्ध राजस्थान के कई जिलों में एक दर्जन से अधिक प्रकरण दर्ज हैं। इसका नेटवर्क राजस्थान के साथ पंजाब और हरियाणा, चण्डीगढ़ तक था। आरोपी इन राज्यों से शराब कों ट्रको में भरकर लाता और उन्हे गुजरात राज्य तक सप्लाई करता था।
लक्ष्मण की हत्या के बाद बदला तरीका
पुलिस के अनुसार दीवानसिंह का साथी लक्ष्मण देवासी था। आरोपी का साथी लक्ष्मण देवासी शराब तस्करी का सरगना था, जिसका अपना शराब तस्करी का बड़ा नेटवर्क था। शराब तस्करी के दौरान हुई गैंगवार के चलते लक्ष्मण देवासी की सांचौर में मुख्य चौराहा पर दिन दहाड़े हत्या होने के बाद आरोपी दीवान सिंह को तस्करी के नेटवर्क में स्वयं की जान का खतरा होने की आशंका थी।
प्रदेश की सीमा के ठेकों से चलाने लगा नेटवर्क
लक्ष्मण देवासी की हत्या के बाद आरोपी दीवान सिंह ने तस्करी का नेटवर्क छोड़ गुजरात बोर्डर के पास राजस्थान में शराब के ठेके खरीद लिए और शराब बेचने का कार्य किया। अपने शराब के ठेके से राजस्थान निर्मित अंग्रेजी शराब को गुजरात तक पहुंचाने का कार्य किया।
छोटे तस्करों से की थी सांठगांठ
सांचौर में फायरिंग की घटना के बाद से तस्करी के तरीकों में दीवानसिंह ने बदलाव किया। साथ की हत्या के बाद दीवान ने छोटे तस्करों से सपर्क कर अवैध शराब को गुजरात तक पहुंचाने की एवज में अच्छी रकम देना शुरू किया।
इस तरह से की कोडिंग
पुलिस महानिरीक्षक विकास कुमार ने बताया कि साइक्लोनर टीम ने अपराधियों की धरकपड़ की कार्यवाही को लगातार अंजाम देते हुए अपने लक्ष्य का 125वां टारगेट हासिल करते हुए शराब तस्करी का अन्तरराज्यीय सरगना को गिरफ्तार किया। दिल्ली सफदरगंज रेल्वे स्टेशन दिल्ली में स्थित है, जिसका कोड नेम डीएसजे है। आरोपी दीवान सिंह जडेजा का भी कोड नेम डीएसजे होता है। इस तरह ऑपरेशन का नाम डी.एस.जे. के आधार पर दिल्ली सफदरगंज रखा गया।
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राजस्थान से बनाई दूरी, फिर भी पकड़ा गया
तस्करों की लगातार हो रही गिरफ्तारी को देखते हुए दीवान ने खुद को पुलिस ने बचाने के लिए राजस्थान सीमा में आना बन्द कर दिया था। अपने गुर्गों के मार्फत ही यह नेटवर्क चला रहा था। साइक्लोनर टीम के कांस्टेबल मांगीलाल को मिली सूचना के आधार आरोपी पकड़ा गया। इनपुट के आधार पर दीवान अपने एक खास गिरोह के सदस्य से बात कर रहा था, जिस पर वह ट्रेस हो गया। पुलिस ने इसे पालनपुर (गुजरात) से गिरफ्तार किया।
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