ट्रेनिंग को लेकर गंभीर PHQ
लंबे समय बाद विभाग ने अपने पुलिस जवानों की ट्रेनिंग को लेकर गंभीरता दिखाई है। पीएचक्यू की ट्रेनिंग विंग इन नए बदलावों के साथ नई पॉलिसी भी तैयार कर रही है। इसमें सदियों पुराने ट्रेनिंग प्रोग्राम बदल दिए जाएंगे। विभाग के अनुसार यह बदलाव आधुनिक और मजबूत पुलिसिंग की दिशा में बेहद अहम साबित होगा। प्रदेशभर के 8 पुलिस प्रशिक्षण केंद्रों में जून से आने वाले नए बैच के आरक्षक से लेकर डीएसपी तक के अधिकारियों को अब नए प्रोग्राम के अंतर्गत प्रशिक्षिण दिया जाएगा।पीटीएस में ट्रेनर्स की कमी भी दूर होगी
ट्रेनर्स की कमी से जूझते प्रदेश के पीटीएस में अब इनकी कमी नहीं होगी। इसके लिए अलग से टीओटी प्रोग्राम चलाए जा रहे हैं। इनमें पीटी, परेड, मार्शल ऑर्ट्स के लिए नए प्रशिक्षकों की पूरी फौज ही तैयार की जा रही है। इसकी निगरानी स्वयं एडीजी (प्रशिक्षण) राजाबाबू सिंह कर रहे हैं। रीवा पीटीएस में एक ड्रिल इंस्ट्रक्टर डीआइ ट्रेनिंग कराई जा रही है। इसमें 40 ट्रेनर्स को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। एडीजी सिंह स्वयं वर्चुअल जुड़कर ट्रेंनिग की स्थिति परखते हैं।8 पीटीएस में जून से आएगा नया बैच
पुलिस में बीते कुछ माह के दौरान व्यापक स्तर पर भर्तियां हुई हैं। नव पुलिसकर्मियों का बैच ट्रेनिंग के लिए तैयार हैं। पुलिस में शामिल होने वाले करीब 3,856 हजार नए प्रशिक्षार्थी अब इसी ट्रेनिंग प्रोग्राम से प्रशिक्षित होंगे। इनमें पीटीएस भौरी में 691, इंदौर में 995, पचमढ़ी में 263, रीवा में 456, सागर में 360, तिगरा में 596, उज्जैन में 225 और उमरिया में 270 शामिल हैं।‘मजबूत पुलिस का आधार है प्रशिक्षण’
मजबूत पुलिसिंग का आधार प्रशिक्षण है। नए जवानों को यदि सही तरीके से प्रशिक्षित किया जाए तो वे कानून व्यवस्था का सही-सही क्रियान्यवयन करा सकेंगे। इन कार्यक्रमों को नए दौर के अनुसार तैयार किया है, ताकि लोगों को बेहतर पुलिसिंग मिले।ये भी पढ़ें: एमपी में दमोह जैसा मामला, महिला मरीज की मौत के बाद खुलासा, डॉक्टर निकला पेंटर