तकनीकी जांच के बाद ट्रायल
पटना मेट्रो के रैक बनाने की ठेका एल्सटॉम को दिया गया था। यह कंपनी भारत में मेट्रो कोच निर्माण के क्षेत्र में अग्रणी कंपनी है। कंपनी ने सावली स्थित अपनी अत्याधुनिक फैक्ट्री में इस रैक का निर्माण किया है। पटना मेट्रो परियोजना में दो कॉरिडोर हैं-पटना जंक्शन से पाटलिपुत्र बस टर्मिनल और दानापुर से मीठापुर। पहला कॉरिडोर पटना जंक्शन से पाटलिपुत्र बस टर्मिनल है। लेकिन पहले फेज में मलाही पकड़ी से पाटलिपुत्र बस टर्मिनल तक ही मेट्रो दौड़ेगी।
कितना होगा किराया
कंकड़बाग के मलाही पकड़ी से पाटलिपुत्र बस टर्मिनल तक मेट्रो तक यात्रा करने वाले यात्रियों को 30 रुपए किराया देना होगा। दरअसल, मेट्रो की ओर से जो किराया तय किया गया है उसके अनुसार पटना में 0 से 3 किमी का न्यूनतम किराया 15 रुपए तय किया गया है। जबकि 3 से 6 किमी का किराया 30 रुपए होगा। कंकड़बाग के मलाही पकड़ी से पाटलिपुत्र बस टर्मिनल की दूरी 3 किलो मीटर से ज्यादा है। इस कारण यात्रियों को 30 रूपए देने होंगे।
सुबह 5 से रात 11 बजे तक चलेगी मेट्रो
मेट्रो का पटना में सुबह 5 बजे से रात के 11 बजे तक परिचालन होगा। ‘मेट्रो का परिचालन से पटना के लोगों को तेज और सुरक्षित यात्रा कर सकेंगे। इसके साथ ही निर्धारित समय पर वे अपने गंतव्य पर पहुंचेंगेष उनको जाम की समस्या से मुक्ति मिलेगी। इसके साथ ही पटना के लोग लग्जरी यात्रा का भी आनंद ले सकेंगे।
पटना में 35 किमी में दौड़ेगी मेट्रो
पटना में कुल 34.39 किमी में मेट्रो दौड़ेगी। इसके लिए दो कॉरिडोर बनाए गए हैं। ईस्ट–वेस्ट कॉरिडोर 16.94 किमी का है और नॉर्थ–साउथ कॉरिडोर 14.45 किमी का है। इसको दो फेज में बांटकर काम किया जा रहा है। पहले फेज में 26 मेट्रो स्टेशन पर काम चल रहा है। इसमें 13 स्टेशन एलिवेटेड यानी जमीन के ऊपर और 13 अंडरग्राउंड यानी जमीन के नीचे बनाए जा रहे हैं। फिलहाल महाली पकड़ी मेट्रो से स्टेशन से पाटलिपुत्र बस टर्मिनल तक का ट्रैक बनकर तैयार है। 15 अगस्त को करीब 6 किलोमीटर कॉरिडोर पर मेट्रो दौड़ेगी।
मेट्रो के निर्माण पर होंगे 13,365 करोड़ खर्च
पटना में मेट्रो परियोजना के निर्माण पर करीब 13,365 करोड़ खर्च होंगे। 2027 तक पहला कॉरिडोर (पटना जंक्शन से पाटलिपुत्र बस टर्मिनल ) शुरू करना है। डिपो क्षेत्र में रैक के आगमन के बाद अब तकनीकी विशेषज्ञ इसकी जांच करेंगे। इसमें कोच की सेफ्टी, इलेक्ट्रिक सिस्टम और अन्य तकनीकी पहलुओं का परीक्षण शामिल है। इसके बाद ट्रायल रन शुरू होगा।