ऑपरेशन सिंदूर विश्व में भारत निर्मित हथियारों का बड़ा प्रमोशन साबित हो सकता है, क्योंकि अब इनका परीक्षण समकक्ष शक्तियों के साथ युद्ध जैसी स्थिति में किया गया है। ये भारती हथियार अब दुनियाभर में, विशेषकर छोटे देशों में अधिक खरीदारों को आकर्षित कर सकते हैं। ब्रह्मोस और पिनाका मिसाइलों से लेकर रडार और आर्टिलरी सिस्टम तक भारत में बने उपकरणों ने लाइव कॉम्बैट में खुद को साबित किया है।
इन 5 हथियारों मे साबित की अपनी धार…
आकाश मिसाइल सिस्टम: स्वदेशी रूप से विकसित सतह से हवा में मार करने वाली आकाश मिसाइल रक्षा प्रणाली ने पाकिस्तानी ड्रोन हमलों का मुकाबला करने में अपनी प्रभावशीलता साबित कर दी है। यह 4.5 किमी से 25 किमी की दूरी तक संचालित होता है, जिसे हवाई खतरों से बचाने के लिए डिजाइन किया गया है। यह एकसाथ 64 टारगेट्स को ट्रैक और 12 टारगेट्स पर निशाना साध सकता है। अर्मेनिया ने इसे खरीदा है। साथ ही आकाश मिसाइल सिस्टम में फिलीपींस, मिस्र, वियतनाम और ब्राजील ने रुचि दिखाई है।
एंटी-ड्रोन डी-4 सिस्टम: इस स्वदेशी एंटी-ड्रोन प्रणाली ने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तानी सेना की ओर से तुर्की में बने ड्रोन की ओर से किए गए हमलों को मात दी। यह उड़ते हुए ड्रोन का रियल टाइम में पता लगाने, ट्रैकिंग और निष्प्रभावी करने (सॉफ्ट/हार्ड किल) में सक्षम है। यह लेजर के जरिए ड्रोन के पाट्र्स को पिघला सकता है। इसका जैमिंग फंक्शन ड्रोन को गुमराह करने के लिए जीपीएस स्पूफिंग और रेडियो फ्रीक्वेंसी को जाम कर देता है।
नागास्त्र 1: भारत में बने नागास्त्र 1 लोइटरिंग म्यूनिशन का पहली बार जंग में इस्तेमाल हुआ। यह एक सुसाइड ड्रोन है जो अपने टारगेट को उड़ाने के लिए खुद को विस्फोट कर लेता है। यह लक्ष्य के ऊपर चक्कर लगाता रहता है और हमला करने के लिए सही क्षण की प्रतीक्षा करता है।
स्काईस्ट्राइकर : यह दूसरा लोइटरिंग म्यूनिशन सुसाइड ड्रोन है जिसे भारत (अदाणी समूह) ने इजरायल (एल्बिट सिक्योरिची सिस्टम) के साथ पार्टनरशिप में बनाया है। स्काईस्ट्राइकर लंबी दूरी के सटीक हमलों के लिए एक सस्ता ड्रोन है। यह हवाई फायर मिशनों के लिए उपयुक्त है। यह अनमैन्ड एयरक्राफ्ट सिस्टम की तरह उड़ान भरता है और मिसाइल की तरह अटैक करता है।
ब्रह्मोस मिसाइल: भारत की ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूड मिसाइल का पहली बार ऑपरेशन सिंदूर के दौरान इस्तेमाल किया गया, जब 10 मई को भारतीय वायु सेना ने पाकिस्तानी एयरबेसों पर सटीक हमले किए। ब्रह्मोस के हमलों से ही पाकिस्तान भारत के सामने घुटनों पर आया और रहम की भीख मांगते हुए सीजफायर की अपील की। ऑपरेशन सिंदूर के बाद कई देश ब्रह्मोस मिसाइल में दिलचस्पी दिखा सकते हैं।