आरोपियों पर फर्जी दस्तावेज बनाकर डी-फार्मा की डिग्री प्रदान करने का आरोप है। इससे आवेदक का चार साल का समय बर्बाद हुआ। आरोपियों ने गाली-गलौज करते हुए जान से मारने की धमकी भी दी थी।
अभियुक्त सुशील पाण्डेय को पहले ही गिरफ्तार कर जेल भेजा जा चुका था। शेष दो अभियुक्तों की गिरफ्तारी के लिए विभिन्न टीमें गठित की गईं थीं। पुलिस अधीक्षक मऊ द्वारा वांछित अभियुक्तों की गिरफ्तारी के लिए 25-25 हजार रुपये का पुरस्कार घोषित किया गया था। विवेचक द्वारा इनकी गिरफ्तारी के लिए न्यायालय से गैर जमानतीय वारंट भी निर्गत कराए गए थे।
पुलिस अधीक्षक जनपद मऊ इलामारन जी के निर्देशन में अपराध नियंत्रण अभियान के तहत यह कार्रवाई की गई। गिरफ्तार किए गए आरोपियों में अवनीश पाण्डेय (44 वर्ष) और मयंक तिवारी (30 वर्ष) शामिल हैं। अवनीश पाण्डेय सूर्या स्कूल ऑफ नर्सिंग एंड पैरामेडिकल साइंसेस के निदेशक हैं। मयंक तिवारी इसी संस्थान के प्रबंध निदेशक हैं।
दोनों आरोपियों को हयात सेन्टर के पीछे मोहल्ला देवपरवा, थाना कोतवाली नगर, मऊ से गिरफ्तार किया गया। इस गिरफ्तारी से फर्जी डिग्री देने के रैकेट का भंडाफोड़ हुआ है।