5 दिन पहले मासूम को आया था बुखार
मकसूदाबाद के निर्मल कुमार कपड़ा कारोबारी हैं। टिकरा में उनकी कपड़े की शॉ है। उनकी बेटी आरवी केजी की छात्रा थी। निर्मल के मुताबिक, बेटी आरवी कमल को पिछले कुछ दिनों से बुखार आ रहा था। चार दिन पहले वह कल्याणपुर स्थित हॉस्पिटल में डॉ. अनूप अग्रवाल से इलाज करा रहे थे। आराम न मिलने पर वह 5वें दिन वह बेटी को लेकर हॉस्पिटल पहुंचे। डॉ. अनूप हॉस्पिटल में नहीं थे। उन्हों फोन पर ही भर्ती करने की सलाह दी। इस पर अरवी को अस्पताल में भर्ती करा दिया।
फोन पर ही इलाज करते रहे डॉक्टर
पिता निर्मल का आरोप है कि डॉ. अनूप इलाज करने हॉस्पिटल नहीं पहुंचे। वह फोन पर ही नर्सिंग स्टाफ को इलाज का निर्देश देते रहे। उनके निर्देश पर बेटी को चार इंजेक्शन लगाए। इसके बाद उसकी हालत और बिगड़ती चली गई। हालत ज्यादा खराब होने पर करीब दो घंटे बाद डॉक्टर अनूप अस्पताल पहुंचे और बेटी को हैलट या कहीं और ले जाने के लिए कह दिया। इसके बेटी को पास के अस्पताल ले गया, जहां आरवी को मृत घोषित कर दिया गया। बेटी की मौत के बाद छलक पड़ा पिता का दर्द
बेटी की मौत के बाद पिता का दर्द छलक पड़ा। उन्होंने कहा, “डॉक्टर साहब! इलाज नहीं कर पा रहे थे तो कम से कम बता तो देते। हम किसी बड़े डॉक्टर के यहां लेकर चले जाते। कम से कम बेटी की जान तो बच जाती। हम तो बेटी के बर्थडे की तैयारी में जुटे थे, लेकिन आपने तो जान ही ले ली।’