भारत मौसम विभाग (IMD) ने मंगलवार को प्रदेश के कई जिलों के लिए बारिश और तेज आंधी-तूफान का अलर्ट जारी किया है। मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार, बुधवार से तापमान में तेज़ उछाल आने की संभावना है और गर्मी एक बार फिर अपना रौद्र रूप दिखा सकती है।
बारिश से फिलहाल राहत, लेकिन फिर लौटेगी लू और तपिश
वरिष्ठ मौसम वैज्ञानिक अतुल कुमार सिंह का कहना है कि आने वाले कुछ दिनों तक आंधी-पानी का दौर जारी रह सकता है, लेकिन बुधवार से मौसम का रुख फिर गर्म हो जाएगा। तापमान में तेज़ी से बढ़ोतरी होगी और गर्म हवाएं व लू चलने की संभावना है। उन्होंने यह भी चेतावनी दी है कि मई के तीसरे सप्ताह तक तापमान 45 डिग्री सेल्सियस को पार कर सकता है, जिससे इस बार गर्मी कई पुराने रिकॉर्ड तोड़ सकती है।
मंगलवार को इन जिलों में हो सकती है बारिश
मौसम विभाग ने जिन जिलों में हल्की से मध्यम बारिश और झोंकेदार हवाओं की संभावना जताई है, वे हैं मुरादाबाद, अमरोहा, संभल, बिजनौर, रामपुर, लखनऊ, सीतापुर, अयोध्या, बाराबंकी, सुल्तानपुर, बहराइच, गोंडा, अंबेडकर नगर, उन्नाव, अमेठी। इन जिलों में बादलों की गड़गड़ाहट, बिजली चमकने और 30-40 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चल सकती हैं।
30 से अधिक जिलों में आंधी और तूफान का खतरा
मौसम विभाग ने उत्तर प्रदेश के कई जिलों में तेज़ आंधी और तूफान की चेतावनी जारी की है। 60–70 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चलने की आशंका है, जिससे जनजीवन प्रभावित हो सकता है। जिन जिलों में यह चेतावनी दी गई है, वे कौशांबी, प्रतापगढ़, प्रयागराज, फतेहपुर, सोनभद्र, मिर्जापुर, चंदौली, वाराणसी, संत रविदास नगर, फर्रुखाबाद, कन्नौज, कानपुर देहात, कानपुर नगर, अलीगढ़, बांदा, चित्रकूट, मथुरा, हाथरस, कासगंज, एटा, आगरा, फिरोजाबाद, मैनपुरी, इटावा, औरैया, रामपुर, बरेली, पीलीभीत, शाहजहांपुर, संभल, बदायूं, जालौन, हमीरपुर, महोबा, झांसी, ललितपुर हैं।
मुरादाबाद मंडल में ओलावृष्टि से फसलों को भारी नुकसान
रविवार शाम, मुरादाबाद मंडल के कई हिस्सों में तेज़ आंधी, बारिश और ओलावृष्टि हुई। शाहजहांपुर के निगोही और पीलीभीत में बड़े आकार के ओले गिरे, जबकि मुरादाबाद में लगभग आधे घंटे तक तेज बारिश और ओले पड़ते रहे। इस मौसम के प्रकोप से आम, टमाटर, लौकी जैसी सब्ज़ियों और दलहनी फसलों को भारी नुकसान पहुंचा है।
मौसम विभाग ने लोगों से अपील की है कि वे मौसम को लेकर अलर्ट रहें, विशेषकर तेज हवा और ओलावृष्टि के समय बिजली के खंभों, पेड़ों और अस्थायी ढांचों से दूर रहें। किसान अपनी फसलों की सुरक्षा के लिए जरूरी उपाय करें और पशुओं को भी सुरक्षित स्थानों पर रखें।