बता दें कि कांग्रेस नेताओं के साथ में बिजली उपभोक्ताओं ने भी जोरदार विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शन में शामिल कांग्रेस नेता प्रकाश छंगाणी की अगुवाई में नागरिकों ने आरोप लगाया कि बिना जन सहमति और जानकारी के लगाए जा रहे स्मार्ट मीटरों से उपभोक्ताओं की जेब पर अतिरिक्त भार पड़ रहा है।
निजी कंपनियों को फायदा पहुंचाने का आरोप
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कुंभ सिंह पातावत और पूर्व उपाध्यक्ष सलीम नागौरी ने आरोप लगाया कि वर्तमान सरकार स्मार्ट मीटर के नाम पर निजी कंपनियों को फायदा पहुंचाने का काम कर रही है। जबकि आम जनता इससे परेशान हो रही है। उन्होंने कहा कि स्मार्ट मीटर लगने के बाद बिजली बिलों में 15 से 30 प्रतिशत तक की बढ़ोतरी हो रही है, जो कि स्पष्ट रूप से लूट है।
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सीएम के नाम कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन
प्रदर्शन के दौरान मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नाम जिला कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा गया। वहीं, विद्युत मंत्री के नाम अधीक्षण अभियंता, फलोदी को ज्ञापन देकर मांग की गई कि जब पुराने मीटर ठीक से कार्य कर रहे हैं तो उन्हें हटाने का कोई औचित्य नहीं बनता। ऐसे में स्मार्ट मीटर नहीं लगाए जाएं।
प्रदर्शन में एडवोकेट श्रीगोपाल व्यास, पूर्व पार्षद सत्यनारायण गुचिया, अशोक व्यास, प्रदीप भार्गव, एडवोकेट भंवरलाल जोशी, वंदना बोहरा, नीरु परिहार, महेश आचार्य, गोरधन जयपाल, लीलाधर कन्नौजिया, हितेश छंगाणी, नटवर शर्मा और झनकारी देवी सोनी के साथ सैकड़ों नागरिकों ने भाग लिया।
दी आंदोलन की चेतावनी
प्रदर्शनकारियों ने चेतावनी दी कि यदि स्मार्ट मीटर लगाने की प्रक्रिया पर रोक नहीं लगाई गई, तो आंदोलन को और तेज किया जाएगा। कांग्रेस नेताओं ने सरकार से जनता की भावनाओं का सम्मान करने और बिजली उपभोक्ताओं की सहमति के बिना स्मार्ट मीटर लगाने की कार्रवाई तत्काल रोकने की मांग की।