Jhunjhunu: एक्शन मोड में आया विभाग, JCB से हटाया 30 करोड़ की जमीन का अतिक्रमण, ग्रामीणों ने लगाए ये आरोप
Forest Department In Action Mode: वन विभाग ने लगभग 30 करोड़ रुपए की जमीन को खाली करवा कर अपने कब्जे में लिया है। रेंजर फगेड़िया के अनुसार कुछ लोग वन विभाग की जमीन पर चारों तरफ से सीमेंट के पोल लगाकर व तारबंधी कर खेती कर रहे थे।
Rajasthan News: चकावा की ढाणी व भाना वाला कुआं तन ढाणा में सोमवार को वन विभाग ने बड़ी कार्रवाई करते हुए करीब 100 बीघा जमीन से अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई की। खेतड़ी रेंजर विजय फगेड़िया के नेतृत्व में टीम ने कार्रवाई को अंजाम दिया। इस दौरान जमीन पर की गई तारबंधी, पिलर व तार फेंसिंग को हटाया गया। रेंजर फगेड़िया ने बताया कि जिन लोगों ने अतिक्रमण कर रखा है, उन्हें 9 व 14 जुलाई को सर्वेयर को बुलाने के लिए कहा गया लेकिन किसी ने भी सर्वेयर नहीं बुलाया। इसके बाद वन विभाग ने अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई की है।
वन विभाग ने लगभग 30 करोड़ रुपए की जमीन को खाली करवा कर अपने कब्जे में लिया है। रेंजर फगेड़िया के अनुसार कुछ लोग वन विभाग की जमीन पर चारों तरफ से सीमेंट के पोल लगाकर व तारबंधी कर खेती कर रहे थे। कुछ लोगों ने वन विभाग की भूमि पर फार्म हाउस भी बना रखे थे। वर्ष 2022 में इन लोगों को नोटिस जारी किए गए थे। इसके बाद अतिक्रमण हटाया भी गया था, लेकिन कुछ लोगों ने फिर से खेती करना शुरू कर दिया। अब मुख्य वन संरक्षक जयपुर राजीव चतुर्वेदी व उप वन सरंक्षक झुंझुनूं गुजझारीलाल के निर्देश पर खेतड़ी वन विभाग की टीम ने यह कार्रवाई की है। ढाणी में करीब 15-20 लोगों ने वन भूमि पर अतिक्रमण कर रखा था। जेसीबी मशीन से पोल हटाकर व तार फेसिंग हटाकर भूमि को खाली करवाया गया है।
इनका कहना है…
मंदिर माफी की जमीन से अतिक्रमण नहीं हटाया है। वन विभाग की जमीन पर जिन लोगों ने अतिक्रमण कर रखा था, उसे ही हटाया गया है। ग्रामीणों का आरोप गलत है।
-विजय फगेड़िया, रेंजर, वन विभाग खेतड़ी
ग्रामीणों ने लगाया भेदभाव का आरोप
उधर ग्रामीण बजरंगलाल सैनी व राकेश ने वन विभाग की टीम पर अतिक्रमण हटाने में भेदभाव का आरोप लगाया है। उनका आरोप है कि मंदिर माफी की जमीन से अतिक्रमण हटाया जबकि वन विभाग की कुछेक जमीन से अतिक्रमण हटाया है।
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