Bhilwara Encounter: भीलवाड़ा। राजस्थान के भीलवाड़ा में बुधवार तड़के पुलिस और बदमाशों के बीच मुठभेड़ हुई। जिसमें हिस्ट्रीशीटर सिकंदर पठान उर्फ लॉटरी घायल हो गया। घायल बदमाश को भीलवाड़ा के महात्मा गांधी अस्पताल में भर्ती कराया गया है। वहीं, पुलिस ने बदमाश लॉटरी के तीन साथियों को गिरफ्तार कर लिया है। शुरुआती पूछताछ में सामने आया है कि बदमाश यहां बड़ी वारदात को अंजाम देने की फिराक में थे।
एसपी धर्मेंद्र सिंह ने बताया कि हमीरगढ़ थाना क्षेत्र में आज सुबह 4 बदमाशों के हथियार लेकर आने की सूचना मिली। जिसके बाद बदमाशों को पकड़ने के लिए टीम गठित की गई। प्रोबेशनर आईपीएस जतिन जैन और हमीरगढ़ थाना प्रभारी संजय गुर्जर के नेतृत्व में बदमाशों को पकड़ने के लिए नाकाबंदी की गई।
सरेंडर की वार्निंग पर बदमाशों ने की फायरिंग
पुलिस ने सरेंडर करने के लिए वॉर्निंग दी। बदमाशों ने फायरिंग शुरू कर दी। एक गोली पुलिस की गाड़ी पर भी लगी। तभी पुलिस की ओर से जवाबी फायरिंग की गई, जो हिस्ट्रीशीटर सिकंदर पठान के पैर में लगी। इसके बाद बदमाश को घायल अवस्था में महात्मा गांधी अस्पताल लाया गया। जहां पर बदमाश का उपचार जारी है। वहीं, शेष पकड़ने गए तीन बदमाशों ने खुलासा किया कि आरोपी किसी का मर्डर करने के इरादे से हथियार लेकर आ रहे थे। पुलिस ने हथियार बरामद कर लिए है।
जानें- सिकंदर पठान कौन?
सिकंदर पठान भीलवाड़ा के कोतवाली थाना क्षेत्र का हिस्ट्रीशीटर है। वह एफसीआई गोदाम के पीछे स्थित कच्ची बस्ती का रहने वाला है। आरोपी के खिलाफ भीलवाड़ा और उदयपुर के कई थानों में आपराधिक मामले दर्ज है।
कैसे पड़ा लॉटरी नाम?
बदमाश सिकंदर पठान के खिलाफ सबसे पहले साल 2014 में केस दर्ज हुआ था। उसे खिलाफ हत्या और आपराधिक षडयंत्र रचने का मामला भीलवाड़ा के कोतवाली थाने में दर्ज हुआ था। इसके बाद से वह लगातार आपराधिक गतिविधियों में शामिल रहा। आरोपी जुए के धंधे में लिप्त रहा है। वह कहता था कि जिसके साथ सिकंदर है, उसकी लॉटरी खुल जाती है। ऐसे में हिस्ट्रीशीटर सिकंदर लॉटरी के नाम से जाना जाने लगा। पुलिस थानों में भी उसके खिलाफ सिकंदर उर्फ लॉटरी के नाम से ही मुकदमें दर्ज है।
आरोपी के खिलाफ अलग-अलग थानों में कुल 14 मुकदमे हैं। कई मामलों में पहले भी उसकी गिरफ्तारी हो चुकी है। आरोपी के खिलाफ उदयपुर के गोवर्धन विलास थाने में गैंगरेप और धमकी देने का मामला दर्ज हुआ था। जिसमें उसकी गिरफ्तारी भी हुई थी। इसके अलावा भीलवाड़ा के प्रतापनगर, मांडल और कोतवाली थाने में लूट, जुए, मारपीट, फायरिंग, फिरौती के लिए अपहरण, डकैती, गैंगरेप और आपराधिक षड्यंत्र रचने के 13 मामले दर्ज है।