गत दिनों कृषि मंत्री किरोड़ीलाल मीणा की ओर से फैक्टरियों पर की गई छापेमारी और नकली उर्वरक जब्त करने के मामले में अब केंद्र सरकार ने भी अपने स्तर पर जांच पड़ताल शुरू कर दी है। केंद्र सरकार के कृषि मंत्रालय की एक तीन सदस्यीय टीम शनिवार को किशनगढ़ पहुंची और सभी सीज फैक्टरियों का निरीक्षण किया। हालांकि टीम के इस दौरे को पूर्णत: गोपनीय रखा गया है और टीम ने भी इस संदर्भ में किसी प्रकार का कोई खुलासा या जानकारी किसी से साझा नहीं की है।
बताया जा रहा है कि इस तीन सदस्यीय टीम ने इस फैक्टरियों से नकली उर्वरकों से जुड़े कई तथ्य और जानकारियां और दस्तावेज भी जुटाए। साथ ही फैक्टरियों में सीज किए गए तैयार उर्वरकों व कच्चे माल के रूप में प्रयुक्त होने वाली मार्बल स्लरी, पाउडर इत्यादि के नमूने भी लिए। बताया जा रहा है कि इस पूरे प्रकरण में करीब 8-9 अधिकारियों को भी सूचीबद्ध किया है और इन पर कार्रवाई की गाज भी गिर सकती है। हालांकि इसकी आधिकारिक रूप से किसी ने पुष्टि नहीं की है। तीन सदस्यीय टीम के दौरे को लेकर कृषि विभाग के जे.डी. संजय तनेजा से जानकारी चाही गई तो इन्होंने भी उच्च स्तर पर गोपनीय होने की बात कहते हुए अनभिज्ञता जताई।
गौरतलब है कि कृषि मंत्री किरोड़ीलाल मीणा ने 29 और 30 मई को किशनगढ़ के करीब 10 गावों में 18 फैक्टरियों पर छापेमारी कार्रवाई कर इन फैक्टरियों में नकली उर्वरक तैयार करने के मामले पकड़े। इन सभी फैक्टरियों को तत्काल सीज कर दिया गया। प्रकरण को लेकर कृषि विभाग की ओर से किशनगढ़ पुलिस थाना, बांदरसिंदरी पुलिस थाना, अरांई पुलिस थाना और श्रीनगर पुलिस थाने में तकरीबन 15 मामले भी दर्ज किए गए है। छापेमारी कार्रवाई में कई नामी कपनियों के तैयार उर्वरक और भरे हुए कट्टों के साथ ही कच्चे माल के रूप में उपयोग में ली जाने वाली मार्बल स्लरी का पाउडर, मुरड़ मिट्टी, बालू मिट्टी, राख, टायर का जला पाउडर एवं कई प्रकार के केमिकल भी मिले थे।