जांच अधिकारी मनीष कुमार ने बताया कि राजसमंद जिले के कुरज निवासी सुन्दरलाल पिता नारूनान भाण्ड ने उसकी मासी चांदी बाई की गुमशुदगी की रिपोर्ट 23 फरवरी को दर्ज कराई थी। इस पर मामले की जांच करते हुए पता चला कि 22 फरवरी को आखिरी बार चांदी बाई को रमेश के मकान के पास देखा था। आसपास के लोगों ने बताया कि सिल्वर कलर की वेन में चांदी बाई को बैठाकर ले जाना सामने आया।
अभियुक्त ने पूछताछ में बताया कि दृष्यम फिल्म से प्रभावित होकर अपराध का प्लान बनाया। 9 जनवरी को जब अभियुक्त के परिवार में भाई के 12वें का कार्यक्रम था तो चांदी बाई गहने पहनकर ढोल बजाने आई थी, उसी दिन से चांदी बाई की हत्या कर गहने लूटने की कोशिश शुरू कर दी।
22 फरवरी को रमेश गुन्दली में रातीजगा के ढोल बजाने की झूठी बात बोलकर चांदी बाई को गाड़ी से ले गया। रमेश ने अंधेरा होने के बाद चांदी बाई की लोहे के पाने से सिर पर मारकर हत्या कर दी। जिसके बाद गहने लूट लिए और मोबाइल बंदकर फेंक दिया। मृतका के शव को डंम्पिग यार्ड़ में जला दिया।
आरोपी की पत्नी ने बताया कि वह दृष्यम फिल्म और क्राइम पेट्रोल देखते रहते थे। जिसके आधार पर यह प्लान किया था। वहीं पुलिस ने आरोपी के बातए स्थान से हड्डियां, दांत, दाढ़ बरामद किए।