परफ्यूम के बाद 30 किलो सीमेंट डाला
हत्या के बाद शव को छिपाने के लिए आरोपियों ने शव को लाल रंग के ट्राली बैग में भरा। इसके बाद उसमें परफ्यूम स्प्रे किया। इसके बाद कमरा बंद करके अपने घर चले गए। उसी रात गोलबाजार पेटी लाइन से टिन की पेटी आर्डर किया। अगले दिन 22 जून को सुबह करीब 9.30 बजे दोनों रूम में जाकर हत्या में इस्तेमाल चाकू और खून लगे टॉवेल को प्लास्टिक की बोरी में भरकर भाठागांव के पास नाले में फेंक दिया। फिर दोनों दोपहर में टिन की पेटी लेने गए। ऑनलाइन पेमेंट करने के बाद पेटी को ऑटो में लोड करके इंद्रप्रस्थ के फ्लैट में ले गए। वहां शव से लगातार बदबू आ रही थी। इसके बाद दोनों ने हार्डवेयर दुकान से करीब 30 किलो सीमेंट खरीदा। सीमेंट को सूटकेस के अंदर रखे शव के ऊपर डाल दिया। इसके बाद सूटकेस को बंद करके टिन की पेटी में बंद दिया। 23 जून को सुबह 8 बजे दोनों पति-पत्नी इंद्रप्रस्थ के फ्लैट में पहुंचे। पेटी को उठाने की कोशिश की, लेकिन नहीं उठा पाए। इसके बाद अंकित ने अपने बड़े भाई प्रिटिंग प्रेस में काम करने वाले सूर्यकांत यदु और विनय यदु को बुलाया। दोनों शव को ठिकाने लगाने में मदद करने के लिए तैयार हो गए।
लिफ्ट से उतारा, कई लोगों की पड़ी नजर
आरोपियों ने शव भरी टिन की पेटी को ठिकाने लगाने लिफ्ट से नीचे लाया। अंकित, सूर्यकांत और विनय ने पेटी को अल्टो कार की डिक्की में रखा। इसके बाद सुनसान इलाके में चले गए। शिवानी अपनी दोपहिया से उनके साथ-साथ गई। शिव को फेंकने के बाद कार को पुरानीबस्ती के एक गैरेज में डेंटिंग पेंटिंग के लिए दी। अंकित और शिवानी अपने घर आ गए।
एयरपोर्ट छोड़ने गया एक भाई
शव को ठिकाने लगाने के बाद अंकित और शिवानी ने अपने परिवार को इसकी जानकारी दे दी। इसके बाद दोनों ने बाहर भागने की प्लानिंग की। घर से नकदी, जेवर, बैग लेकर दोनों एयरपोर्ट पहुंचे। सूत्रों के मुताबिक अंकित के एक भाई ने दोनों को एयरपोर्ट छोड़ा था। इससे पूरे मामले में उसके घर वालों की भूमिका भी सवाल उठने लगे हैं।
दानपत्र के जरिए संपत्ति हड़पने की आशंका
मृतक किशोर कई सालों से अकेले ही जीवन यापन कर रहा था। उनके करीबी रिश्तेदारों ने भी उनसे दूरी बना ली थी। किशोर की ग्राम मोहंदी की पैतृक जमीन ही करोड़ों रुपए की है। इसके अलावा रायपुर में भी मकान थे। मोहंदी की पैतृक संपत्ति को दानपत्र के जरिए ही लिया जा सकता था। आशंका है कि अंकित ने कहीं दानपत्र के जरिए उस संपत्ति को हड़प तो नहीं लिया है? फिलहाल पुलिस तीन दिन की रिमांड पूछताछ करेगी। इसमें कई चौंकाने वाली जानकारियां आ सकती हैं।
क्राइम टाइमलाइन
19 जून को अंकित ने इंद्रप्रस्थ कॉलोनी में फ्लैट किराए पर लिया 21 जून को अंकित किशोर पैंकरा के हांडीपारा स्थित घर पहुंचा। उसी दिन उन्हें इंद्रप्रस्थ के अपने फ्लैट में लेकर आया। 21 जून सुबह करीब 10 बजे अंकित और शिवानी ने किशोर की हत्या की। फ्लैट का ताला बंद करके चले गए। शाम करीब 6 बजे फिर लौटे। शव सूटकेस में भरा। 21 जून को रात करीब 8.30 बजे अंकित और शिवानी गोलबाजार की पेटीलाइन पहुंचे। टिन की पेटी का आर्डर देकर अपने घर चले गए।
22 जून सुबह करीब 9.30 बजे फिर इंद्रप्रस्थ के फ्लैट में पहुंचे। हत्या से खून लगा चाकू और कपड़े को बोरे में भरकर नाले में फेंक दिया। 22 जून दोपहर करीब 12 बजे गोलबाजार पहुंचे। टिन की पेटी को ऑटो में लोड करवाकर इंद्रप्रस्थ के फ्लैट में मंगवाया।
22 जून की शाम हार्डवेयर की दुकान से 30 किलो सीमेंट लेकर आए। सूटकेस में रखे शव में सीमेंट लगाया। सूटकेस को टिन की पेटी में रख दिया। फिर घर चले गए। 23 जून सुबह करीब 8 बजे अंकित और शिवानी फिर फ्लैट पहुंचे। कुछ देर बाद फिर अपने सत्यम विहार घर पहुंचे।
23 जून सुबह करीब 9.30 बजे सूर्यकांत और विनय के साथ फिर फ्लैट में पहुंचे। शव को लिफ्ट से उतारकर सुनसान जगह पर फेंक दिया। 23 जून रात करीब 9.30 बजे अंकित और शिवानी फ्लाइट से दिल्ली फरार हो गए
24 जून की रात दिल्ली में दोनों पकड़े गए