वन्यजीव संरक्षण पर सवाल
रॉयल बंगाल टाइगर भारत का राष्ट्रीय पशु है और यह संरक्षित प्रजाति है। इस तरह की क्रूर घटना ने वन्यजीव संरक्षण के लिए चलाए जा रहे प्रयासों पर गंभीर सवाल खड़े किए हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि यह घटना न केवल अवैध शिकार को बढ़ावा देती है, बल्कि स्थानीय लोगों में जागरूकता की कमी को भी दर्शाती है।
प्रशासन की प्रतिक्रिया
घटना की सूचना मिलते ही वन विभाग और स्थानीय पुलिस ने जांच शुरू कर दी है। वन अधिकारियों ने बताया कि वे इस मामले में शामिल लोगों की पहचान करने और उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की तैयारी कर रहे हैं। वन्यजीव संरक्षण अधिनियम के तहत ऐसी गतिविधियां गंभीर अपराध मानी जाती हैं, जिसके लिए सात साल तक की सजा और भारी जुर्माने का प्रावधान है।
समाज के लिए शर्म की बात
सोशल मीडिया पर इस घटना की व्यापक निंदा हो रही है। कई लोगों ने इसे “शर्मनाक” और “अमानवीय” करार दिया है। वन्यजीव प्रेमी और पर्यावरण कार्यकर्ता इस घटना को लेकर सरकार से सख्त कदम उठाने की मांग कर रहे हैं।