कब से मनाया जा रहा विभाजन विभीषिका दिवस
देश के बंटवारे के दर्द को याद करने के लिए और बलिदानियों का सम्मान करने के लिए हर साल 14 अगस्त को विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस मनाने की शुरुआत की गई। मोदी सरकार ने साल 2021 में इसकी शुरुआत की।
कैसे तय हुई बंटवारे की तारीख
20 फरवरी 1947 को ब्रिटिश प्रधानमंत्री क्लेमेंट एटली ने घोषणा की थी कि 30 जून 1948 तक सत्ता भारतीयों को सौंपी जाएगी, लेकिन भारत के तत्कालीन गर्वनर जनरल लॉर्ड माउंटबेटन ने इसे 14/15 अगस्त 1947 को लागू कर दिया। दोनों देशों के बंटवारे की सीमाओं को तय करने का जिम्मा सर सिरिल रैडक्लिफ को सौंपा गया था, जिन्होंने भारत और पाकिस्तान के बीच सीमा रेखा निर्धारित की।
10 लाख लोगों की मौत, 1.5 करोड़ बेघर
एक रिपोर्ट के मुताबिक बंटवारे के समय में 1.5 करोड़ लोगों को विस्थापन का शिकार होना पड़ा। बड़े पैमाने पर सांप्रदायिक दंगे हुए। करीब 10 लाख लोगों की जान गई। 50 हजार से अधिक महिलाओं की आबरू लुटी गई।
विभाजन विभीषिका दिवस पर पीएम मोदी ने किया ट्वीट
इस मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर लिखा- भारत ‘विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस’ मना रहा है, और हमारे इतिहास के उस दुखद अध्याय के दौरान अनगिनत लोगों की ओर से झेली गई उथल-पुथल और उनकी पीड़ा को याद कर रहा है। यह दिन उनके साहस का सम्मान करने का भी अवसर है, उन लोगों की अकल्पनीय क्षति को सहने और फिर भी नए सिरे से शुरुआत करने की उनकी क्षमता को नमन करने का दिन है। पीएम मोदी ने आगे लिखा कि प्रभावित लोगों ने अपने जीवन का पुनर्निर्माण किया और असाधारण उपलब्धियां हासिल कीं। यह दिन हमारे देश को एक सूत्र में पिरोने वाले सद्भाव के बंधन को मजबूत करने की हमारी स्थायी जिम्मेदारी की भी याद दिलाता है।
केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने साधा कांग्रेस पर निशाना
विभाजन विभीषिका दिवस के मौके पर केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने ट्वीट किया। उन्होंने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए लिखा- विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस, देश के विभाजन और उसकी त्रासदी के शिकार लोगों के दर्द को याद कर संवेदना व्यक्त करने का दिन है। इस दिन कांग्रेस ने देश को टुकड़ों में बांटकर मां भारती के स्वाभिमान को चोट पहुंचाई। विभाजन के कारण हिंसा, शोषण और अत्याचार हुए और करोड़ों लोगों ने विस्थापन झेला। मैं उन सभी लोगों के प्रति मन की गहराई से श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं। देश विभाजन के इस इतिहास और दर्द को कभी भुला नहीं सकेगा।
गडकरी और शिवराज ने बताया काला अध्याय
केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने भी विभाजन विभीषिका दिवस को याद करते हुए लिखा, ‘1947 में धर्म के आधार पर हुआ देश का विभाजन भारतीय इतिहास का एक अमानवीय और काला अध्याय है। ‘विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस’ पर आज उन सभी लोगों का स्मरण करते हुए श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं, जिन्हें देश के विभाजन के समय अपनी ज़िंदगी गंवानी पड़ी’। यह दर्दनाक इतिहास देश कभी नहीं भूलेगा। केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भी इस अवसर पर अपने संदेश में लिखा, “1947 में धर्म के आधार पर हुआ देश का विभाजन भारतीय इतिहास का एक अमानवीय और काला अध्याय है। इससे उत्पन्न हुई नफरत और हिंसा की वजह से हमारे असंख्य भाई-बहनों को विस्थापित होना पड़ा और अपनी जान तक गंवानी पड़ी। वहीं, भारतीय रेलवे ने वीडियो जारी कर विभाजन की तस्वीर दिखाई।