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गोलियों की तड़तड़ाहट से दहला मऊ, पूर्व प्रधान को लगी गोली प्रथम पंचवर्षीय योजना में बनी चौधरी चरण सिंह पंप कैनाल नहर दोहरीघाट ब्लाक के किसानों की खेतीबारी के लिए वरदान है। मऊ जनपद से बलिया तक 350 किमी में फैली इस नहर से 50 हजार हेक्टेयर से अधिक भूमि की सिंचाई होती है। लेकिन इस बार नहर काफी विलंब से चालू हुई। पहले 20 मई तक नहर चालू हो जाती थी। लेकिन सफाई कार्य में लेट होने से पांच जून को चालू होनी थी। लेकिन चालू नही हो सकी, जिससे किसान आक्रोशित हो उठे। किसानों के आक्रोश को देखते हुए सिंचाई विभाग ने शुक्रवार को आनन फानन में नहर चालू कर दिया।
सफाई नहीं होने से हुई दुर्घटना
नहर में पंपों से छोड़े जाने वाले पानी की धारा का वेग और दबाव अधिक होने के कारण उदगम स्थल से टिकरी-मुरादपुर तक पक्की नहर का निर्माण कराया गया है, जबकि इसके आगे नहर खोदी गई है। लेकिन जहां से कच्ची नहर की शुरुआत होती है, लगभग सात बजे अचानक नहर टूट गई। इससे सौ एकड़ से अधिक खेतों में पानी भर गया। वहीं धान की नर्सरी डूबने से किसान परेशान है। हालांकि नहर टूटने की सूचना पर तुरंत बंद कर दी गई। और सिंचाई विभाग के कर्मचारी नहर के बांध को बांधने में जुट गए है। बोरी मिट्टी में भरकर टूटे स्थान पर रखा जा रहा है। शाम तक मरम्मत कार्य पूरा कर नहर पुनः चालू की जाएगी। इस संबंध में सहायक अभियंता सतीशचंद मिश्र ने बताया की कच्ची नहर के ऊपर उगे पेड़ो की जड़ से सुराग बन गए थे, जिससे रिसाव होने से नहर टूट गई है। बांधने का कार्य तेजी से चल रहा है। शाम तक मरम्मत कार्य पूरा कर नहर चालू कर दिया जाएगा।