कहां-कहां लगेंगी डेंटल चेयर
स्वास्थ्य विभाग की सूची के अनुसार डेंटल चेयर की संख्या और जिलेवार वितरण इस प्रकार है:
- आगरा और अमरोहा – 6-6 डेंटल चेयर
- बरेली, बदायूं, बुलंदशहर, अलीगढ़, भदोही, बलिया, कानपुर नगर, सम्भल – 4-4 डेंटल चेयर
- अयोध्या, जौनपुर, सीतापुर – 11-11 डेंटल चेयर
- आजमगढ़, प्रयागराज – 8-8
- कानपुर देहात – 7
- बहराइच, बिजनौर, कन्नौज, प्रतापगढ़ – 5-5
- बस्ती, कौशांबी, सुल्तानपुर, शामली, मिर्जापुर, उन्नाव – 3-3
- चन्दौली, देवरिया, इटावा, मुजफ्फरनगर, फर्रुखाबाद, फतेहपुर, रायबरेली, झांसी – 2-2
- मेरठ – 10
- ललितपुर, महराजगंज, मऊ, अमेठी, चित्रकूट, गोरखपुर, हापुड़, हरदोई, औरैया, कासगंज, सहारनपुर, शाहजहांपुर, बागपत, मुरादाबाद, श्रावस्ती – 1-1
ग्रामीण स्वास्थ्य के क्षेत्र में अहम कदम
डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने कहा, “ग्रामीण जनता को प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में ही दांतों के दर्द और अन्य दंत रोगों से राहत मिले, यही सरकार की मंशा है। डेंटल चेयर की उपलब्धता से इन क्षेत्रों में इलाज की गुणवत्ता में बड़ा सुधार होगा।” उन्होंने बताया कि हर चेयर के साथ प्रशिक्षित डेंटिस्ट की नियुक्ति भी की जाएगी। इससे ना केवल मौजूदा मेडिकल सेवाओं में इजाफा होगा, बल्कि मरीजों को समय पर उचित इलाज मिल पाएगा।
लोहिया संस्थान को 250 करोड़ का बजट, 131 उपकरण स्थापित
लखनऊ स्थित डॉ. राम मनोहर लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान को सरकार ने 2025-26 के लिए 250 करोड़ रुपये का बजट आवंटित किया है। इस बजट से आधुनिक चिकित्सकीय उपकरण खरीदे जा रहे हैं। अब तक 131 प्रकार के उपकरण स्थापित हो चुके हैं। 51 उपकरणों की स्थापना जारी है, जबकि शेष 41 उपकरणों की खरीद के लिए अनुमोदन प्रदान कर दिया गया है। डिप्टी सीएम ने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि शेष सभी उपकरण जल्द से जल्द संस्थान में स्थापित किए जाएं ताकि मरीजों को उच्च गुणवत्ता वाली चिकित्सा सेवा उपलब्ध हो सके।
PGI में भी लगेगा अत्याधुनिक चिकित्सा सिस्टम
डिप्टी सीएम ने बताया कि संजय गांधी स्नातकोत्तर आयुर्विज्ञान संस्थान (SGPGI) को भी 100 करोड़ रुपये की वित्तीय स्वीकृति प्रदान की गई है। इससे PGI में मेडिकल एजुकेशन और इलाज दोनों में बेहतरी लाई जा रही है। इस बजट से अब तक 80% उपकरण खरीदे और संस्थान में स्थापित किए जा चुके हैं। शेष 20% उपकरणों को लेकर तेजी से प्रक्रिया पूरी कराई जा रही है। PGI के एपेक्स ट्रॉमा सेंटर को विशेष रूप से उन्नत किया जा रहा है। यहां 30 करोड़ रुपये के उच्च स्तरीय उपकरणों की व्यवस्था की जा रही है। इनमें से 40 उपकरण स्थापित हो चुके हैं जबकि शेष 6 उपकरणों की खरीद प्रक्रिया अंतिम चरण में है।
डेंटल स्वास्थ्य पर विशेष जोर
दंत चिकित्सा को लेकर पहले सरकार की प्राथमिकता अपेक्षाकृत कम रही थी, लेकिन अब प्रदेश सरकार इस क्षेत्र को भी प्राथमिक स्वास्थ्य सेवाओं में सम्मिलित कर रही है। विशेषज्ञों का मानना है कि डेंटल इन्फेक्शन या अन्य समस्याएं शरीर की कई अन्य बीमारियों का कारण बन सकती हैं, जैसे हृदय रोग या डायबिटीज़। ऐसे में डेंटल चेयर का ग्रामीण सीएचसी पर पहुंचना आम जनमानस के स्वास्थ्य की रक्षा के लिए एक दूरगामी कदम माना जा रहा है।
सरकार का विजन, गांव से लेकर राजधानी तक स्वास्थ्य सशक्तिकरण
डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक का कहना है, “मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में प्रदेश सरकार का लक्ष्य है कि कोई भी नागरिक स्वास्थ्य सेवाओं से वंचित न रहे। चाहे वह दूरस्थ गांव में हो या फिर राजधानी के अस्पताल में, हर स्तर पर सुविधा एक समान होनी चाहिए।”उन्होंने आगे कहा कि आने वाले समय में अधिक से अधिक सीएचसी और पीएचसी को डिजिटल व अत्याधुनिक बनाए जाने की योजना है, जिससे स्वास्थ्य सेवाओं को पूरी तरह व्यवस्थित और सुलभ किया जा सके।