जाने ग्रीक योगर्ट और रेगुलर योगर्ट में अंतर
ग्रीक योगर्ट: इसे बनाने में पानी और व्हे (दही का तरल भाग) को छान दिया जाता है, जिससे यह ज्यादा गाढ़ा, क्रीमी और प्रोटीन से भरपूर हो जाता है। इसमें फैट और कार्बोहाइड्रेट की मात्रा कम होती है, इसलिए जिम जाने वालों और हाई-प्रोटीन डाइट लेने वालों के लिए यह बेहतरीन है। रेगुलर योगर्ट: यह हल्का और पानीदार होता है, जिसमें कैल्शियम की मात्रा थोड़ी ज़्यादा होती है। रोज़मर्रा के भोजन के साथ इसे खाना पाचन और हड्डियों के लिए अच्छा है।
ग्रीक और रेगुलर योगर्ट के फायदे
प्रोबायोटिक्स से भरपूर
दोनों ही तरह के योगर्ट में ‘गुड बैक्टीरिया’ यानी प्रोबायोटिक्स की भरमार होती है, जो आंतों की सेहत को संतुलित रखते हैं और पाचन को आसान बनाते हैं। इससे सूजन, गैस और अन्य पाचन संबंधी समस्याओं का खतरा कम होता है।
वजन घटाने में सहायक
दही और ग्रीक योगर्ट, दोनों ही प्रोटीन और प्रोबायोटिक्स से भरपूर होते हैं, जो लंबे समय तक पेट भरा रखने में मदद करते हैं। इससे ओवरईटिंग कम होती है और वजन नियंत्रण में रहता है।
दिल की सेहत के लिए अच्छा
दही का नियमित सेवन ब्लड प्रेशर और खराब कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करने में मदद करता है। यह धमनियों में प्लाक बनने और कठोरता जैसी समस्याओं का जोखिम भी घटाता है।
लैक्टोज इंटॉलरेंस में राहत
अगर दूध पीने से आपको सूजन, गैस या दस्त की शिकायत होती है, तो दही आपके लिए एक अच्छा विकल्प है। इसमें लैक्टोज की मात्रा दूध से कम होती है, जिससे इसे पचाना आसान हो जाता है। डिसक्लेमरः इस लेख में दी गई जानकारी का उद्देश्य केवल रोगों और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूकता लाना है। यह किसी क्वालीफाइड मेडिकल ऑपिनियन का विकल्प नहीं है। इसलिए पाठकों को सलाह दी जाती है कि वह कोई भी दवा, उपचार या नुस्खे को अपनी मर्जी से ना आजमाएं बल्कि इस बारे में उस चिकित्सा पैथी से संबंधित एक्सपर्ट या डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।