जिन अपात्र लाभार्थियों ने अब तक स्वयं गिव अप नहीं किया है, उनके खिलाफ अब जिला प्रशासन सख्ती बरत रहा है। जिला कलक्टर के निर्देश पर 1536 अपात्र व्यक्तियों को नोटिस जारी किए गए हैं, जिसमें उन्हें 31 अगस्त तक स्वेच्छा से अपना नाम हटाने को कहा गया है। इस अवधि के बाद उनसे 27 रुपए प्रति किलो की दर से मय ब्याज वसूली की जाएगी।
अब तक जयपुर जिले में 1 लाख 92 हजार 272 अपात्र व्यक्तियों ने स्वेच्छा से खाद्य सुरक्षा योजना का लाभ छोड़ते हुए गिव अप किया है। जिला कलक्टर डॉ. जितेन्द्र कुमार सोनी स्वयं इस अभियान की प्रगति की नियमित मॉनिटरिंग कर रहे हैं।
ग्राम पंचायत स्तर तक चला जागरूकता अभियान
जिला रसद अधिकारी त्रिलोकचंद मीणा ने बताया कि गिव अप अभियान को पंचायत स्तर तक पहुंचाने के लिए रात्रि चौपालों, जन सुनवाई, ग्राम सभाओं और अन्य सार्वजनिक कार्यक्रमों में अधिकारियों, जनप्रतिनिधियों और समाज के प्रतिष्ठित लोगों द्वारा लोगों को प्रेरित किया गया। परिणामस्वरूप, आमजन ने भी इस अभियान को भरपूर समर्थन दिया।
कार्मिकों से वेतन से होगी वसूली
ऐसे अपात्र सरकारी/अर्द्ध सरकारी कार्मिकों की पहचान की जा रही है, जिनके नाम खाद्य सुरक्षा सूची में हैं। संबंधित विभागों को निर्देशित किया जाएगा कि वसूली की राशि संबंधित कार्मिक के मासिक वेतन से काटी जाए।
इन श्रेणियों के लोग माने गए अपात्र
गिव अप अभियान के तहत ऐसे परिवारों को योजना से बाहर किया जा रहा है जिनमें कोई सदस्य सरकारी या अर्द्ध सरकारी संस्था में नियमित कर्मचारी है, जिनकी वार्षिक आय एक लाख रुपये से अधिक है, जो आयकरदाता हैं, निजी चौपहिया वाहन के स्वामी हैं या जिन्हें 1 लाख से अधिक की पेंशन मिल रही है।