12 मार्च 2025 को शुरू हुआ यह केंद्र मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के “जनता से जुड़ा प्रशासन” वाले विजन का हिस्सा है। शुरुआत से ही एसएसपी अनुराग आर्य और एसपी (दक्षिणी) की निगरानी में यह पहल तेजी से असर दिखा रही है। यहां हर बुधवार को काउंसलिंग होती है, जिसमें दोनों पक्षों को बैठाकर बातचीत कराई जाती है। कई बार तो तलाक की कगार पर पहुंचे रिश्ते भी फिर से पटरी पर लौट आए।
यह भी पढ़ें 19856679: बरेली पुलिस का गुडवर्क: 5 महीने में जोड़े 52 बिखरते रिश्ते, आंवला पुलिस परामर्श केंद्र बना परिवारों का सहारा, जानिए कैसे केंद्र की टीम में 6 सम्मानित नागरिक और 2 महिला पुलिसकर्मी हैं, जो अपनी समझदारी और तजुर्बे से मामला सुलझाने की कोशिश करते हैं। इनकी मेहनत से अब तक 61.17 फीसदी मामलों में समझौता हो चुका है। स्थानीय लोगों का कहना है कि इस केंद्र ने न सिर्फ परिवारों को टूटने से बचाया, बल्कि समाज में भरोसा भी बढ़ाया है। लोग अब सीधे अदालत की राह पकड़ने से पहले यहां आकर बात करने को तैयार हो रहे हैं। इस दौरान सीओ आंवला नितिन कुमार, इस्ंपेक्टर आंवला कुंवर बहादुर सिंह, अध्यक्ष जय गोविन्द सिंह, एडवोकेट रमाकांत तिवारी, रजिया सुल्तान, शोरवी अग्रवाल, रामदीन सागर, एडवोकेट योगेश माहेश्वरी, महिला हेड कांस्टेबल किरन मनी, महिला कांस्टेबल दयावती मौजूद रहे।