बैठक में जिला पंचायतीराज अधिकारी ने बताया कि 25 ग्राम पंचायतों में भवन निर्माण कार्य इसलिए रुका हुआ है क्योंकि अब तक भूमि उपलब्ध नहीं कराई गई है। इस पर जिलाधिकारी ने नाराजगी जताते हुए कहा कि भूमि चिन्हांकन को लेकर जिम्मेदार अधिकारियों ने गंभीरता से प्रयास नहीं किए, जो कर्तव्यहीनता का परिचायक है।
बैठक के दौरान ग्राम पंचायत रामपुर मसरिक के संबंध में बताया गया कि यह गांव नदी में समा चुका है और निवासी छपरा सारीब में बस गए हैं, फिर भी रामपुर मसरिक के नाम पर विकास कार्यों में धन खर्च हो रहा है। इस पर डीएम ने कड़ी आपत्ति जताते हुए कहा कि यह स्पष्ट किया जाए कि धनराशि कहां खर्च की जा रही है। उन्होंने जिला पंचायतीराज अधिकारी को पूरे मामले की रिपोर्ट शासन को भेजने का निर्देश दिया।
जिलाधिकारी ने स्पष्ट किया कि 10 जुलाई तक हर हाल में पंचायत भवन का निर्माण कार्य शुरू हो जाना चाहिए। उन्होंने अधिकारियों को प्राथमिकता के आधार पर निर्माण प्रक्रिया तेज करने के निर्देश दिए।