“भारत-पाकिस्तान में शुरू हो जाता परमाणु युद्ध..मेरी वजह से रुका”
अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने एक बार फिर भारत-पाकिस्तान युद्ध रुकवाने का झूठा क्रेडिट लिया है। पत्रकारों से बातचीत करते हुए ट्रंप ने कहा, “हम कई युद्धों को रोकने में सफल रहे हैं। भारत और पाकिस्तान के बीच जिस तरह से युद्ध चल रहा था, उससे तो एक हफ्ते में ही दोनों देशों के बीच परमाणु युद्ध छिड़ जाता। हालांकि ऐसा हुआ नहीं और मेरी वजह से यह युद्ध रुक गया। हमने ट्रेड डील के ज़रिए ऐसा किया। मैंने दोनों देशों से कहा कि जब तक आप इस मामले को सुलझा नहीं लेते, हम आपके साथ व्यापार के बारे में बात नहीं करेंगे। और उन्होंने युद्ध रोकने का फैसला लिया।”ट्रंप क्यों ले रहे हैं भारत-पाकिस्तान युद्ध रुकवाने का झूठा क्रेडिट?
भारत की तरफ से कई मौकों पर यह साफ किया जा चुका है कि पाकिस्तान से युद्ध को रोकने में किसी भी तीसरे पक्ष की कोई भूमिका नहीं रही। पाकिस्तान की गुहार के बाद दोनों देशों ने आपसी सहमति से युद्ध को आगे न बढ़ाने का फैसला लिया। भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पिछले महीने G7 शिखर सम्मेलन के दौरान ट्रंप से फोन पर बातचीत के दौरान भी उन्हें बताया था कि सीज़फायर पर उनकी और ट्रंप की कोई बातचीत नहीं हुई थी और न ही ट्रेड डील का इस विषय में ज़िक्र हुआ था। ऐसे में मन में सवाल आना स्वाभाविक है कि आखिर क्यों ट्रंप लगातार भारत-पाकिस्तान युद्ध रुकवाने का झूठा क्रेडिट ले रहे हैं?एक्सपर्ट्स के अनुसार ट्रंप शांति के नोबेल पुरस्कार के लिए ऐसा कर रहे हैं। वह खुद कई बार इस बात की इच्छा जता चुके हैं कि भारत-पाकिस्तान युद्ध, इज़रायल-ईरान युद्ध समेत अन्य कुछ जंगों को रुकवाने के लिए उन्हें शांति का नोबेल पुरस्कार देना चाहिए। पाकिस्तान की तरफ से भी ट्रंप को शांति का नोबेल पुरस्कार देने की गुज़ारिश की गई है। इज़रायल के पीएम बेंजामिन नेतन्याहू भी ट्रंप को शांति का नोबेल पुरस्कार देने का समर्थन कर चुके हैं।
