ट्रंप ने पोस्ट शेयर कर दी थी तेल भंडार बनाने की जानकारी
ट्रंप ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ट्रूथ के जरिए घोषणा करते हुए बताया था कि, अमेरिका और पाकिस्तान के बीच देश के तेल भंडारों के विकास को लेकर एक खास समझौता हुआ है। इस समझौते के तहत अमेरिका पाकिस्तान को विशाल तेल भंडार बनाने में मदद करेगा। ट्रंप ने अपने पोस्ट में बताया था कि फिलहाल उस तेल कंपनी के चयन की प्रक्रिया चल रही है जो दोनों देशों के बीच की इस डील का नेतृत्व करेगी।
अपने पोस्ट में ट्रंप ने किया भारत का जिक्र
बता दे कि हाल ही में अमेरिका ने भारत को रूस से तेल खरीदने को लेकर चेतावनी दी थी। उन्होंने कहा था कि इस तरह भारत रूस को आर्थिक सहायता प्रदान कर रहा है और रूस युद्ध जारी रख पा रहा है। अमेरिका ने भारत को ऐसा नहीं करने को लेकर चेतावनी देते हुए कहा था कि अगर भारत रूस से तेल आयात चालू रखता है तो हम उसकी अर्थवयवस्था को कूचल देंगे। इस चेतावनी के बाद अब ट्रंप ने पाकिस्तान में तेल भंडार बनाने में मदद करने की घोषणा की है। इस घोषणा के दौरान ट्रंप ने भारत का भी जिक्र किया और कहा कि क्या पता एक दिन पाकिस्तान भारत को भी तेल बेचे।
मीर ने एक्स पर शेयर किया पोस्ट
ट्रंप की इस घोषणा पर प्रतिक्रिया देते हुए मीर ने अपने एक्स अकाउंट पर एक पोस्ट शेयर किया है। उन्होंने लिखा, आपकी जानकारी सही है कि इस क्षेत्र में तेल और खनिजों का विशाल भंडार है। लेकिन मुझे आपको यह बताना होगा कि आपको पाकिस्तानी सैन्य नेतृत्व, खासकर जनरल आसिम मुनीर, और उनके राजनयिकों द्वारा इन महत्वपूर्ण संसाधनों की सही भौगोलिक स्थिति और स्वामित्व के बारे में आपको गंभीर रूप से गुमराह किया गया है।
पाकिस्तान के अवैध कब्जे में बलूचिस्तान
मीर ने अपने पोस्ट में आगे लिखा, तेल, प्राकृतिक गैस, तांबा, लिथियम, यूरेनियम और दुर्लभ पृथ्वी खनिजों का ये विशाल भंडार पाकिस्तान में स्थित पंजाब के क्षेत्रों में नहीं है बल्कि यह संसाधन बलूचिस्तान गणराज्य के हैं। बलूचिस्तान ऐतिहासिक रूप से एक संप्रभु राष्ट्र रहा है और वर्तमान में यह पाकिस्तान के अवैध कब्जे में है। मीर ने आगे कहा, यह दावा कि ये संसाधन पाकिस्तान के हैं, न केवल झूठा है, बल्कि बलूचिस्तान की संपत्ति को राजनीतिक और वित्तीय लाभ के लिए हड़पने का एक जानबूझकर किया गया प्रयास है।
ट्रंप के फैसले को बताया रणनीतिक गलती
मीर ने ट्रंप को इस विशाल भंडार के बारे में जानकारी देते हुए एक बड़ा पोस्ट शेयर किया। पोस्ट में उन्होंने आगे लिखा, पाकिस्तान की कट्टरपंथी सेना और उसकी आईएसआई, जो अल-कायदा और अफगानिस्तान में हजारों अमेरिकी सैनिकों की मौत के लिए जिम्मेदार विभिन्न प्रोक्सी समूहों को प्रायोजित करने के लिए जानी जाती है, को बलूचिस्तान के खरबों डॉलर के दुर्लभ पृथ्वी खनिजों का शोषण करने की अनुमति देना एक गंभीर रणनीतिक गलती होगी। उन्होंने आगे कहा कि, इससे आईएसआई की शक्तियां काफी बढ़ जाएगी और वह वैश्विक आतंकी नेटवर्क का विस्तार कर सकेगा और 9/11 जैसे बड़े हमलों को अंजाम दे सकेगा।
मीर ने भी अपने पोस्ट में किया भारत का जिक्र
ट्रंप की तरह ही मीर ने भी अपने पोस्ट में भारत का जिक्र किया। उन्होंने कहा, बलूचिस्तान के चोरी किए गए संसाधनों से होने वाला मुनाफा पाकिस्तानी लोगों को लाभ नहीं पहुंचाएगा। बल्कि इसे भारत-विरोधी और इज़राइल-विरोधी जिहादी प्रॉक्सी को मजबूत करने में लगाया जाएगा, जिससे दक्षिण एशिया और व्यापक अंतरराष्ट्रीय व्यवस्था और अस्थिर होगी। उन्होंने आगे कहा, पाकिस्तान को बलूचिस्तान का शोषण करने से रोकना केवल बलूच लोगों के लिए न्याय का मामला नहीं है, यह एक वैश्विक सुरक्षा का मामला है।
ट्रंप को चेताया, कहा- बलूचिस्तान बिकाऊ नहीं
मीर ने अपने पोस्ट में ट्रंप को यह साफ कर दिया कि बलूचिस्तान बिकाऊ नहीं है। उन्होंने लिखा, इसमें कोई संदेह नहीं कि बलूचिस्तान बिकाऊ नहीं है। हम पाकिस्तान, चीन या किसी अन्य विदेशी शक्ति को बलूच लोगों की स्पष्ट सहमति के बिना हमारी भूमि या उसके संसाधनों का शोषण करने की अनुमति नहीं देंगे। हमारी संप्रभुता गैर-परक्राम्य है, और हमारे सही स्वामित्व और स्वतंत्रता के लिए हमारा संघर्ष गरिमा और लचीलेपन के साथ जारी है।