किसान संगठनों ने केंद्र और राज्य सरकारों के बीच की इस प्रशासनिक खींचतान को लेकर नाराजगी जता रहे हैं। इस संबंध में किसान संगठनों ने भी आंदोलन करने की चेतावनी दी है।किसान नेताओं के अनुसार केन्द्र हो राज्य सभी सरकार केवल घोषणाएं करती हैं, लेकिन जमीनी स्तर पर किसानों की हालत खराब होती जा रही है। गौरतलब है कि सीकर जिले में खरीफ 2024 के दौरान प्राकृतिक आपदा के कारण किसानों की फसलों में नुकसान हुआ था।
पोर्टल पर सूची लेकिन मुआवजा नहीं प्रदेश के कई जिलों में खरीफ 2024 के दौरान बैमौसम बारिश ओर सूखे के कारण फसलों को नुकसान हुआ था। जिला स्तर से प्रभावित किसानों की सूची और नुकसान का आंकलन पोर्टल पर अपडेट भी हो चुका है लेकिन प्रदेश और केन्द्र सरकार की मंजूरी और फंड रिलीज प्रक्रिया में देरी हो रही है। वहीं प्रशासनिक औपचारिकताएं और फंड ट्रांसफर कार्य में ढिलाई के कारण किसानों को राहत नहीं मिल रही है। नुकसान के बाद भी मुआवजा नही मिलने से किसानों में रोष बढ़ता जा रहा है।
फैक्ट फाइल तहसील- किसानों की संख्या- बीमित क्षेत्र हेक्टैयर में दांतारामगढ़-21502-31815 रामगढ़ शेखावाटी-8131–18117 लक्ष्मणगढ़-11042-17908 फतेहपुर-7548–15087 नेछवा-8012-14041 श्रीमाधोपुर-12949–9870 सीकर ग्रामीण-7249–9602 धोद-6311–9055 खंडेला-8640-8653 रींगस-7807–7940 सीकर-6036–6763
पाटन-2583–1524