ओसवाल फाउंडेशन के सह-संस्थापक एवं चेयरमैन रामदेव अग्रवाल ने प्रशिक्षण केंद्र की घोषणा की। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ एक अत्यंत समृद्ध प्रदेश है, जिसमें विकास की अपार संभावनाएं हैं। हमने किसानों के लिए महाराष्ट्र में किसान ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट बनाया है। जहां 12 हजार किसान विजिट कर चुके हैं। मेरे गांव नगपुरा के किसानों की कोई मदद नहीं करता। ऐसा कुछ करें कि उनकी आय 35 हजार से बढ़कर 2 लाख हो जाए। उन्होंने कहा कि कंपनी में लिस्टेेड कंपनियों से सरकार से इंट्रो करा सकते हैं। रामदेव अग्रवाल ने आईआईएम और रायपुर को दान दिए गए 172 करोड़ का सांकेतिक चेक भी प्रदान किया।
गांव-गांव तक पहुंचेगी शिक्षा: सीएम
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि इस एमओयू से ‘छत्तीसगढ़ अंजोर विजन’ को साकार करने में सहायता प्राप्त होगी। इस साझेदारी से गांव-गांव तक शिक्षा, कौशल विकास और नवाचार की क्रांति पहुंचेगी। समझौते के तहत ’श्रीमती मिथिलेश अग्रवाल नवाचार एवं उद्यमिता उत्कृष्टता केंद्र’ की स्थापना की जाएगी, जो युवाओं को शोध, प्रयोग और उद्यमिता के माध्यम से आत्मनिर्भर बनाने का कार्य करेगा। उन्होंने कहा कि यह उत्कृष्टता केंद्र केवल आईआईएम या एनआईटी के विद्यार्थियों तक सीमित न रहे, बल्कि गांव-गांव के युवाओं को भी लाभान्वित करे। उन्होंने उद्योग जगत से भी शिक्षा और कौशल विकास के आंदोलन से जुड़ने का आग्रह किया।
एनआईटी
‘श्रीमती मिथिलेश अग्रवाल सेंटर ऑफ एक्सीलेंस’ की स्थापना की जाएगी, जो आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, रोबोटिक्स, इंटरनेट ऑफ थिंग्स, ब्लॉकचेन और क्लीन एनर्जी जैसे डीप-टेक क्षेत्रों पर कार्य करेगा। यह केंद्र वर्ष 2030 तक 10,000 से अधिक युवाओं को प्रशिक्षण देगा, 250 से अधिक स्टार्टअप्स को इनक्यूबेट करेगा और 5,000 से अधिक कुशल नौकरियों का सृजन करेगा। उद्यमिता केंद्र का निर्माण 2025-26 में प्रारंभ होगा और 2027-28 तक पूर्ण रूप से क्रियाशील करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।
आईआईएम
रायपुर में ’अग्रवाल-ओसवाल छात्रावास’ के 202 कमरे और ’दाऊ राम गोपाल अग्रवाल नॉलेज सेंटर’ की स्थापना की जाएगी। इसके अतिरिक्त अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस और जर्मनी की शीर्ष संस्थाओं के सहयोग से छह अंतरराष्ट्रीय एमबीए कार्यक्रम प्रारंभ किए जाएंगे। इस अवसर पर प्रमुख सचिव निहारिका बारीक, उच्च शिक्षा एवं कौशल विकास विभाग के सचिव एस. भारतीदासन,
छत्तीसगढ़ राज्य कौशल विकास प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालन अधिकारी विजय दयाराम के, एनआईटी के चेयरमैन डॉ. सुरेश हावरे, आईआईएम के चेयरमैन पुनीत डालमिया, एनआईटी के निदेशक एन. वी. प्रसन्ना राव, आईआईएम के प्रभारी निदेशक डॉ. संजीव पराशर उपस्थित थे।