CG News: न्यायिक रिमांड पर जेल भेजा गया
इस दौरान अभियोजन पक्ष ने बताया कि आईओबी घोटाले में तत्कालीन
बैंक मैनेजर सुनील कुमार, सहायक प्रबंधक अंकिता पाणिग्रही, लिपिक योगेश पटेल और खेमनलाल कंवर को न्यायिक रिमांड पर जेल भेजा गया है। यह घोटाला राजिम स्थित बैंक में 2022 के दौरान हुआ था।
बैंक के तत्कालीन मैनेजर, सहायक प्रबंधक ने बैंकिंग सिस्टम का दुरुपयोग करते हुए 1.65 करोड़ रुपये का गोल्ड लोन फ्रॉड किया था। घोटाले को अंजाम देने लिपिक योगेश और खेमनलाल को शामिल किया गया था।
न्यायिक रिमांड को आगे बढ़ाने का फैसला
CG News: उक्त सभी लोगों ने बंद पड़े खातों और कम ट्रांजेक्शन वाले खातों को टारगेट बनाकर फर्जी दस्तावेजों के सहारे उन खातों के नाम पर गोल्ड लोन स्वीकृत किए। साथ ही लोन की रकम को बैंक से निकालकर आपस में बांट लिया था। ईओडब्ल्यू द्वारा सभी को गिरफ्तार कर कोर्ट के आदेश पर जेल भेजा गया है।
इसी तरह 660 करोड़ रुपए के सीजीएमएससी घोटाले में तत्कालीन प्रभारी महाप्रबंधक बसंत कुमार कौशिक, बायो मेडिकल इंजीनियर छिरोद रौतिया, उपप्रबंधक कमलकांत पाटनवार, डॉ. अनिल परसाई, मेडिकल इंजीनियर दीपक कुमार बंधे और मोक्षित कॉर्पोरेशन दुर्ग के संचालक शशांक चोपड़ा को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया है।
इस प्रकरण में जांच करने के बाद चालान भी पेश किया जा चुका है। वहीं, आईओबी घोेटाले में इस समय जांच चल रही है। इसे देखते हुए दोनों ही प्रकरणों की सुनवाई को आगे बढ़ाने का अनुरोध किया। इसे
विशेष न्यायाधीश ने स्वीकार कर रूटीन पेशी और न्यायिक रिमांड को आगे बढ़ाने का फैसला सुनाया।