आगरा के दीपक का पूरा परिवार तबाह, बेटी के मुंडन के लिए गए थे मां वैष्णों देवी के दरबार
आगरा के दीपक अपनी बेटी का मुंडन कराने के लिए मां वैष्णों देवी के मंदिर गए थे। दीपक ने बेटी के लिए मन्नत मांग रखी थी। इसलिए वह मुंडन करवाने के लिए वैष्णो माता धाम गए थे। लेकिन, एक पल में उनका पूरा परिवार उजड़ गया।
जम्मू-कश्मीर में लैंडस्लाइड से हुई तबाही, PC- IANS
आगरा के कुम्हारपाड़ा निवासी दीपक का जीवन एक पल में उजड़ गया। वे अपनी बेटी का मुंडन कराने के लिए परिवार के साथ वैष्णो देवी मंदिर गए थे, लेकिन मंगलवार दोपहर हुए भूस्खलन ने उनकी खुशियां छीन लीं। आज, 28 अगस्त 2025, दोपहर 3:30 बजे, दीपक अस्पताल में जिंदगी और मौत से जूझ रहे हैं, जबकि उनका पूरा परिवार बिखर गया।
जम्मू-कश्मीर के कटरा में अर्धकुंवारी के पास इंद्रप्रस्थ भोजनालय के निकट भारी बारिश से ट्रैक पर लैंडस्लाइड हो गया। इस हादसे में दीपक की मां सुनीता देवी (50), 11 महीने की बेटी सेजल, और साली भावना (11) की दर्दनाक मौत हो गई। उनकी पत्नी मोना (26) का पैर काटना पड़ा, और पिता अर्जुन सिंह लापता हैं। तीन साल की बेटी ऐंजल और अन्य रिश्तेदारों का हाल अभी तक स्पष्ट नहीं है। दीपक खुद घायल हैं और अस्पताल में भर्ती हैं।
दीपक की आंखों में आंसू लिए कहानी है, “मैंने मन्नत मांगी थी कि बेटी का मुंडन कराऊं। कई बार योजना बनी, लेकिन इस बार जा सका। दर्शन करके लौटते समय मुझे टॉयलेट लगा, तो परिवार को बैठाकर शौचालय गया। दो-तीन मिनट में जोर की आवाज हुई, मलवा आ गया। सब दब गए, मैं बच गया। मेरी पत्नी की टांग चली गई, मम्मी, बच्ची, साली खत्म हो गए। चार लोग अभी लापता हैं। किसी ने यात्रा बंद करने की चेतावनी नहीं दी। मेरा परिवार उजड़ गया।”
दीपक के पिता अर्जुन जूता कारीगर हैं, और वे भी इस काम में बेटे का हाथ बंटाते थे। परिवार में पत्नी मोना, बेटियां ऐंजल (3 साल) और सेजल (11 महीने), मां सुनीता, बहन जैसमिन, बहनोई मोहित, और साली भावना के साथ वे वैष्णो देवी गए थे। बहनोई प्रमोद ने बताया, ‘दीपक ने मन्नत मानी थी। हंसी-खुशी गए, लेकिन लौटे तो मातम लेकर।’ बुधवार दोपहर जैसमिन ने दिल्ली में रहने वाली बहन नीलम को फोन कर हादसे की खबर दी। नीलम ने प्रमोद को सूचित किया, और घर में कोहराम मच गया।
दीपक के चाचा राजू जम्मू के लिए रवाना हुए, लेकिन ट्रेन रद्द होने से कार से गए। पड़ोसियों ने बताया, ‘घर ताला लगा है। अर्जुन लापता हैं, सुनीता और भावना की मौत हो गई। बाकी कहां हैं, पता नहीं। परिवार के लोग पहुंचें, तभी सच सामने आएगा।’ मोहल्ले में माहौल गमगीन है, लोग एक-दूसरे को सांत्वना दे रहे हैं।
भारी बारिश की वजह से हुआ भूस्खलन
मंगलवार को भारी बारिश ने पहाड़ों को कमजोर कर दिया, जिससे भूस्खलन हुआ। अब तक 32 लोगों की मौत हुई, 23 से ज्यादा घायल हैं, और कई लापता हैं। मरने वालों में यूपी के 11 लोग शामिल हैं। प्रशासन ने यात्रा स्थगित कर दी है, लेकिन यह साफ नहीं कि पहले से चेतावनी दी गई थी या नहीं। राहत आयुक्त भानु चंद्र गोस्वामी ने बताया कि मृतकों के परिजनों को मुख्यमंत्री राहत कोष से 4-4 लाख रुपये मुआवजा दिया जाएगा।
एक पिता जो खुशियां लेकर गया था मिला सिर्फ दर्द
दीपक की कहानी दिल को छूती है। बेटी के मुंडन की खुशी में गए, लेकिन लौटे तो सिर्फ दर्द लेकर। टॉयलेट जाने का वह पल उन्हें बचा गया, लेकिन परिवार को नहीं। पड़ोसियों का कहना है, ‘वे बोले थे कि घर का ख्याल रखना, लेकिन किसी ने सोचा नहीं कि ये हादसा होगा।’ रिश्तेदारों ने पहले ही यात्रा कैंसिल कर दी थी, वरना और लोग भी शिकार हो सकते थे।
वैष्णो देवी में भूस्खलन: मृतकों की संख्या 34 तक पहुंची
वैष्णो देवी में भूस्खलन की त्रासदी में मरने वालों की संख्या बढ़कर 34 हो गई है। बुधवार को अधिकारियों ने यह दुखद जानकारी दी। लगातार हो रही मूसलाधार बारिश के कारण हुए इस भूस्खलन में करीब 20 लोग घायल भी हुए हैं। यह हादसा मंगलवार दोपहर करीब 3 बजे हुआ, जब कटरा से मंदिर तक की 12 किलोमीटर की यात्रा के बीच में एक जगह भूस्खलन ने तबाही मचा दी। इसकी चपेट में आने से कई लोग फंस गए। मंदिर तक पहुंचने के दो रास्तों में से हिमकोटि पैदल मार्ग पर सुबह से ही यात्रा रोक दी गई थी, लेकिन पुराने मार्ग पर दोपहर 1:30 बजे तक लोग आ-जा रहे थे। भारी बारिश को देखते हुए अब यात्रा को अगले आदेश तक स्थगित कर दिया गया है।
जम्मू में बारिश का कहर: 58 ट्रेनें रद्द, 64 रोकी गई
जम्मू-कश्मीर में भारी बारिश के कारण हुए नुकसान के मद्देनजर उत्तर रेलवे ने बुधवार को जम्मू और कटरा स्टेशनों से चलने वाली 58 ट्रेनों को रद्द कर दिया। इसके अलावा, 64 ट्रेनों को विभिन्न स्टेशनों पर बीच रास्ते में ही रोक दिया गया। एक दिन के निलंबन के बाद बुधवार सुबह कुछ समय के लिए रेल यातायात बहाल हुआ और जम्मू से 6 ट्रेनें रवाना हुईं। लेकिन चक्की नदी क्षेत्र में बाढ़ और मिट्टी के कटाव की वजह से फिर से रुकावट आ गई। अधिकारियों के अनुसार, अगली सूचना तक ट्रेनें या तो रद्द रहेंगी या बीच में ही समाप्त कर दी जाएंगी।
आइए धर्मस्थलों पर अबतक हुए कुछ हादसों पर नजर डालते हैं…
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