आरोपी की पहचान और गतिविधियां
NIA के प्रवक्ता ने बताया कि गिरफ्तार जवान की पहचान मोती राम जाट के रूप में हुई है, जो 2023 से जासूसी गतिविधियों में सक्रिय था। वह पैसों के बदले संवेदनशील जानकारियां साझा कर रहा था। जांच में यह भी सामने आया है कि वह पाकिस्तानी एजेंटों से विभिन्न माध्यमों से धन प्राप्त कर रहा था।
जाट को दिल्ली से गिरफ्तार किया गया।
उसे पटियाला हाउस कोर्ट की विशेष अदालत में पेश किया गया, जहां से 6 जून 2025 तक NIA की हिरासत में भेज दिया गया है। गिरफ्तारी के तुरंत बाद, उसे 21 मई 2025 से सेवा से बर्खास्त कर दिया गया।
सोशल मीडिया के ज़रिए मिली जानकारी
CRPF के एक प्रवक्ता ने बताया कि केंद्रीय एजेंसियों के साथ समन्वय में की गई उसकी सोशल मीडिया गतिविधियों की लगातार निगरानी के दौरान यह पाया गया कि जाट ने स्थापित नियमों और प्रोटोकॉल का उल्लंघन किया है। अधिकारी ने कहा “प्रारंभिक मूल्यांकन के बाद मामला गंभीर पाया गया और इसे आगे की जांच के लिए NIA को सौंप दिया गया। साथ ही, संबंधित व्यक्ति को भारत के संविधान और CRPF नियमों के प्रासंगिक प्रावधानों के तहत सेवा से बर्खास्त कर दिया गया है।