Kanwar Yatra, Muharram Guideline: कांवड़ हो या मोहर्रम, कानून तोड़ा तो होगी सख्त कार्रवाई: योगी आदित्यनाथ
Yogi Adityanath Warns: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आगामी कांवड़ यात्रा, रथयात्रा और मोहर्रम जैसे आयोजनों को लेकर कड़े निर्देश जारी किए हैं। उन्होंने कहा कि किसी भी हाल में भड़काऊ नारे, हथियारों का प्रदर्शन और अराजकता बर्दाश्त नहीं की जाएगी। प्रशासन और पुलिस को सतर्कता के साथ सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं।
त्योहारों से पहले सीएम का सख्त संदेश: कानून व्यवस्था के साथ कोई समझौता नहीं फोटो सोर्स :Patrika
Kanwar Yatra, Muharram Guidelines: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आगामी धार्मिक आयोजनों और त्योहारों को लेकर कड़े निर्देश जारी करते हुए स्पष्ट किया है कि राज्य में किसी भी प्रकार की अराजकता, भड़काऊ नारों, या हथियारों के प्रदर्शन को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। कांवड़ यात्रा, रथ यात्रा, मोहर्रम, और श्रावण मास के अवसर पर सीएम ने प्रशासन, पुलिस और स्थानीय अधिकारियों को सतर्क रहने और हर स्थिति पर पैनी नजर रखने के निर्देश दिए हैं।
सीएम ने कौशांबी, इटावा और औरैया जैसी हाल की घटनाओं का हवाला देते हुए दो टूक चेतावनी दी कि यदि कहीं भी उपद्रव की साजिश या जातीय तनाव फैलाने की कोशिश हुई, तो दोषियों पर तुरंत और कठोर कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने साफ कहा कि किसी भी धार्मिक आयोजन को सामाजिक वैमनस्य या राजनीतिक स्वार्थ का जरिया नहीं बनने दिया जाएगा।
मुख्यमंत्री ने प्रशासनिक व पुलिस अधिकारियों के साथ एक उच्च स्तरीय बैठक कर साफ निर्देश दिया कि 27 जून से शुरू हो रहे धार्मिक आयोजनों से लेकर 11 जुलाई तक राज्य में कानून व्यवस्था की स्थिति पर विशेष नजर रखी जाए। खासकर कांवड़ यात्रा, मोहर्रम, रथयात्रा और श्रावण मास के दौरान मंदिरों में उमड़ने वाली भारी भीड़ को लेकर सीएम ने भीड़ प्रबंधन, ट्रैफिक नियंत्रण, स्वच्छता, और पेयजल जैसी बुनियादी सुविधाओं को सर्वोच्च प्राथमिकता देने को कहा।
उन्होंने कहा कि श्रावण के हर सोमवार को मंदिरों में विशेष सतर्कता बरती जाए और संवेदनशील जिलों जैसे मेरठ, बरेली, प्रयागराज, कानपुर, और गाजियाबाद में अतिरिक्त पुलिस बल की तैनाती की जाए। सीमा से सटे जिलों में प्रवेश करने वालों की पहचान की जाए और किसी भी संदिग्ध को रोकने के लिए चेकिंग और ड्रोन से निगरानी अनिवार्य हो।
योगी आदित्यनाथ ने स्पष्ट रूप से कहा कि आस्था का सम्मान सबके लिए जरूरी है, लेकिन यह किसी भी हालत में कानून व्यवस्था का उल्लंघन करने का अधिकार नहीं देती। उन्होंने पुलिस अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए कि कोई भी धार्मिक जुलूस,चाहे वह मोहर्रम हो या कांवड़ यात्रा, बिना अनुमति के न निकले। सोशल मीडिया पर भी भड़काऊ पोस्ट, फर्जी वीडियो या अफवाह फैलाने की गतिविधियों पर तुरंत कार्रवाई की जाए। सीएम ने कहा, “हम सभी त्योहारों को शांतिपूर्ण और सौहार्दपूर्ण ढंग से मनाने की परंपरा में विश्वास रखते हैं। लेकिन किसी को भी यह छूट नहीं दी जाएगी कि वह धार्मिक भावनाओं की आड़ में समाज में जहर घोले।”
मुख्यमंत्री ने कहा कि कांवड़ यात्रा, मोहर्रम या किसी अन्य धार्मिक आयोजन में हथियारों का प्रदर्शन पूरी तरह प्रतिबंधित रहेगा। यदि किसी को हथियारों के साथ देखा जाता है या सोशल मीडिया पर ऐसे किसी वीडियो या फोटो को प्रचारित किया जाता है, तो संबंधित के खिलाफ रासुका (राष्ट्रीय सुरक्षा कानून) के तहत कार्रवाई की जाएगी। सीएम ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि जो भी धार्मिक आयोजन हो, वहां पर बैनर, पोस्टर या मंच से कोई भी भड़काऊ भाषण, धार्मिक उन्माद फैलाने वाला बयान या नारा न लगे। ऐसे मामलों में आयोजकों को ही जिम्मेदार ठहराया जाएगा।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने यह भी निर्देश दिया कि प्रदेश भर के दुकानदारों को अपनी दुकानों पर स्पष्ट रूप से अपना नाम और प्रतिष्ठान का विवरण लिखना होगा। यह निर्देश इसलिए जारी किया गया है ताकि किसी प्रकार की गुमराह करने वाली पहचान या फर्जी नाम से कोई कारोबार न हो सके। खासकर धार्मिक स्थलों और यात्रा मार्गों पर यह व्यवस्था कड़ाई से लागू करने को कहा गया है। साथ ही, त्योहारों के दौरान खुले में मांस की बिक्री, ओवररेटिंग (महंगे दाम पर सामान बेचना), गंदगी फैलाना, और अवैध ढंग से दुकानों का संचालन रोकने के लिए नगर निकायों को भी निर्देश दिए गए हैं।
श्रावण मास और कांवड़ यात्रा में भाग लेने वाले लाखों श्रद्धालुओं की सुरक्षा को देखते हुए सीएम ने कहा कि यात्रा मार्गों पर स्वच्छता, शौचालय, पेयजल, स्ट्रीट लाइट, और प्राथमिक चिकित्सा की समुचित व्यवस्था की जाए। साथ ही, कांवड़ यात्रियों से संवाद बनाए रखें ताकि किसी भी अफवाह या गलतफहमी को फैलने से पहले ही रोका जा सके। सीएम ने खासतौर पर कहा कि कुछ अराजक तत्व भेष बदलकर यात्रा में घुसपैठ कर सकते हैं, इसलिए हर जिले में खुफिया एजेंसियों को अलर्ट मोड पर रखा जाए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कुछ राजनीतिक और सामाजिक तत्व समाज को जाति और धर्म के आधार पर बांटने की साजिशें रच रहे हैं। उन्होंने स्पष्ट किया कि अगर कोई जातीय तनाव फैलाने या समुदाय विशेष को निशाना बनाने की कोशिश करता है, तो बिना किसी देरी के एफआईआर दर्ज की जाए और गिरफ्तारी सुनिश्चित हो। उन्होंने यह भी कहा कि “यदि कोई अफसर इस बात में लापरवाही करता है या आदेश के इंतजार में बैठा रहता है, तो उसके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी।”
ड्रोन और सीसीटीवी से निगरानी, सोशल मीडिया पर विशेष टीम
प्रदेश सरकार ने यह भी तय किया है कि सभी प्रमुख आयोजनों की निगरानी ड्रोन कैमरों और सीसीटीवी से की जाएगी। इसके साथ ही, सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने वालों के लिए साइबर सेल और एंटी-रूमर टीमें गठित की जाएगी, जो हर पोस्ट पर तुरंत कार्रवाई करेंगी।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का संदेश साफ है, उत्तर प्रदेश में धार्मिक स्वतंत्रता के साथ कानून व्यवस्था का संतुलन बनाकर ही त्योहार मनाए जाएंगे। कोई भी व्यक्ति, संस्था या समूह धार्मिक आयोजनों की आड़ में समाज में नफरत, डर या भ्रम फैलाने की कोशिश करेगा तो उसे बख्शा नहीं जाएगा। अब प्रशासन और जनता दोनों की जिम्मेदारी है कि वे मिलकर त्योहारों को शांति, सौहार्द और अनुशासन के साथ मनाएं।
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