ये एसएमएस हैं खतरनाक
एसपी साइबर क्राइम शांतनु कुमार सिंह ने बताया कि साइबर अपराधी एक संदिग्ध नंबर से आपके यूपीआई खाते में बहुत कम राशि भेजते हैं, जैसे 1 रुपए या 10 रुपया। इसके तुरंत बाद आपको एक एसएमएस प्राप्त होता है, जिसमें बताया जाता है कि आपके यूपीआई खाते में धनराशि जमा हो गई है। इस एसएमएस में यूपीआई बैलेंस चेक करने के लिए एक लिंक भी दिया होता है।
लिंक में छिपी रहती है एपीके फाइल
धोखेबाज जानते हैं कि लोग अपने खाते में पैसे आने पर उत्सुक हो जाते हैं। जैसे ही कोई व्यक्ति इस एसएमएस में दिए गए लिंक पर क्लिक करता है, उसमें छिपी एक ऐपीके फाइल’ पीडि़त के मोबाइल में डाउनलोड हो जाती है। यह एपीके फाइल आपके मोबाइल का पूरा नियंत्रण साइबर अपराधी को दे देती है।
यूपीआई खाता साइबर अपराधी के नियंत्रण में
इसके बाद अपराधी आपके यूपीआई खाते पर धनराशि निकासी का अनुरोध भेज देता है। पीडि़त को लगता है कि पैसे आए हैं और वह अपना बैलेंस चेक करने के लिए उत्साहित होता है, वह एसएमएस लिंक पर क्लिक करने के बाद अपने यूपीआई ऐप में गोपनीय पिन नंबर डाल देता है। जैसे ही पिन डाला जाता है, साइबर अपराधी द्वारा भेजा गया निकासी अनुरोध मान्य हो जाता है और आपके खाते से पैसे स्वचालित रूप से निकल जाते हैं। इस प्रकार आपका यूपीआई खाता साइबर अपराधी के नियंत्रण में आ जाता है और वह आपके पैसों को आसानी से निकाल लेता है। Cyber Crime शाखा ने की आमजन से सावधानी बरतने की अपील
- अनजान नंबर/यूपीआई से धनराशि प्राप्त होने वाले एसएमएस पर तुरंत भरोसा न करें। किसी भी संदिग्ध एसएमएस पर अत्यधिक सावधान रहें।
- अनजान नंबर से आए एसएमएस में दिए गए किसी भी लिंक पर क्लिक न करें।
- यदि आपको अनजान नंबर से पैसे आने का संदेश मिलता है, तो अपने बैंक से सीधे संपर्क करें या अपने यूपीआई ऐप में जाकर मैन्युअल रूप से बैलेंस चेक करें। एसएमएस में दिए गए लिंक का उपयोग कभी न करें।
- यदि आप इस प्रकार की घटना का शिकार हो जाते हैं तो तत्काल इसकी सूचना नजदीकी पुलिस स्टेशन/ साइबर पुलिस स्टेशन/साइबर क्राइम रिपोर्टिंग पोर्टल https://cybercrime.gov.in पर भी शिकायत दर्ज करा सकते हैं। इसके अतिरिक्त साइबर हेल्पलाइन नंबर 1930 या साइबर हेल्पडेस्क नंबर 9256001930 / 9257510100 पर भी संपर्क किया जा सकता है। एसपी सिंह ने बताया कि साइबर अपराधी हमेशा नए तरीके खोजते रहते हैं। आपकी सावधानी ही आपको ऐसे धोखेबाजों से बचा सकती है। डिजिटल लेनदेन करते समय हमेशा सतर्क रहें।