हनुमानगढ़ के जिला कलेक्टर डॉ. खुशाल यादव ने अभियान में भाग लेते हुए कहा कि “अंगदान मृत्यु के बाद भी जीवन देने का संकल्प है, और अगर समाज में बदलाव लाना है तो इसकी शुरुआत स्वयं से करनी होगी।” उन्होंने बुधवार को एसपी के साथ स्वयं भी शपथ ली, जिसके बाद जिले की रैंकिंग 12वें स्थान से सीधी प्रथम स्थान पर पहुंच गई।
राजकीय मेडिकल कॉलेज की प्राचार्य डॉ. कीर्ति शेखावत ने कहा कि “अंगदान केवल एक शपथ नहीं, बल्कि किसी के जीवन की नई उम्मीद है। शपथ लेने वाले कल किसी के लिए देवदूत बन सकते हैं।” उन्होंने कॉलेज स्तर पर अधिक से अधिक लोगों को शपथ लेने के लिए प्रेरित किया।
प्रदेश स्तर पर अब तक 72,000 से अधिक नागरिक अंगदान की ई-शपथ ले चुके हैं। हनुमानगढ़ की यह उपलब्धि प्रशासनिक सजगता और नागरिक चेतना का जीवंत उदाहरण है। जनप्रतिनिधियों, सरकारी कर्मचारियों, अधिकारियों और विद्यार्थियों ने भी इसमें बढ़-चढ़कर भाग लिया।
अगर आप भी इस पुनीत कार्य में सहभागी बनना चाहते हैं, तो https://notto.abdm.gov.in/pledger-login पर जाकर आधार और मोबाइल OTP के माध्यम से ई-शपथ प्रमाण पत्र प्राप्त कर सकते हैं। यह पहल अंगदान को एक सामान्य सामाजिक कर्तव्य के रूप में स्थापित करने की दिशा में एक सार्थक कदम है।