केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि स्वास्थ्य सुधार के लिए दिल्ली से तैयार की गई योजनाओं और स्वास्थ्य कार्यक्रमों को मध्यप्रदेश में अभूतपूर्व तरीके से अमली जामा पहनाया जा रहा है। दूसरे राज्यों के लिए यह एक उदाहरण बन रहा है।
केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने रिमोट का बटन दबाकर श्योपुर और सिंगरौली के सरकारी चिकित्सा महाविद्यालयों का वर्चुअली लोकार्पण किया। केन्द्रीय मंत्री नड्डा ने इन दोनों मेडिकल कॉलेज में एमबीबीएस कोर्स प्रवेश के लिए राज्य सरकार को लैटर ऑफ परमिशन भी दिया।
केन्द्रीय मंत्री जेपी नड्डा ने केन्द्र सरकार की ओर से दोनों मेडिकल कॉलेज में एमबीबीएस के लिए 100-100 सीटों के
लैटर ऑफ परमिशन दिया है। उन्होंने बताया कि दोनों मेडिकल कॉलेज के संचालन और प्रवेश की प्रक्रिया भी आज से ही प्रारंभ कर दी गई हैं। इस मौके पर बैतूल, पन्ना, धार और कटनी जिले में पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप (पीपीपी) मॉडल पर स्थापित होने वाले नए चिकित्सा महाविद्यालय के लिए संबंधित निवेशकों से अनुबंध पत्रों पर हस्ताक्षर और आदान-प्रदान भी किए गए।
स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने कहा कि देश में कुल 780 मेडिकल कॉलेज और इनमें 1 लाख 70 हजार एमबीबीएस की सीटें हैं। आगामी 5 साल में यूजी-पीजी की 75 हजार मेडिकल सीटें और बढ़ाने का लक्ष्य है। नीट में 13 भाषाओं में प्रवेश परीक्षा आयोजित की जा रही है। अब गांव के बच्चे भी क्षेत्रीय भाषाओं में परीक्षा पास कर डॉक्टर बन पा रहे हैं। मध्यप्रदेश ने हिंदी में एमबीबीएस की पढ़ाई शुरू कर दी है।
मध्यप्रदेश में 32 मेडिकल कॉलेज
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कार्यक्रम में बताया कि वर्ष 2003 में मध्यप्रदेश में केवल 5 मेडिकल कॉलेज थे जबकि अब यहां 32 मेडिकल कॉलेज हो गए हैं। पिछले डेढ़ वर्ष में करीब 15 शासकीय मेडिकल कॉलेजों की स्थापना की मंजूरी और निर्माण कार्य की दिशा में तेजी से प्रयास किए गए हैं।