भोपाल को टक्कर दे रहा सागर
बेरोजगारी की समस्या साल दर साल बढ़ रही है। रोजगार कार्यालयों के आंकड़ों के पड़ताल से पता चला कि बेरोजगारी के मामले में छोटे और मझोले शहर बड़े शहरों को टक्कर दे रहे है। इस श्रेणी में सागर 95 हजार से अधिक बेरोजगारों के साथ शीर्ष पर है। वहीं रीवा, सतना जैसे मझोले शहरों में भी बेरोजगारी कम नहीं है। वहीं राजधानी भोपाल 95 हजार से ज्यादा बेरोजगारों के साथ दूसरे स्थान पर है। रोजगार की तलाश के मामले में छोटे-छोटे जिले भी आगे हैं। हर साल यहां बड़ी संया में युवा रोजगार दतर में अपना पंजीयन करा रहे हैं। इनकी बढ़ती संया चिंता का सबब है। बेरोजगारी में प्रदेश के टॉप-5 जिले
- सागर 95835
- भोपाल 95587
- ग्वालियर 94159
- रीवा 89326
- सतना 84024
स्रोत: रोजगार कार्यालय में 30 जून तक दर्ज आंकड़े।
बेरोजगार नहीं आकांक्षी युवाओं का दर्जा
प्रदेश में बेरोजगार युवाओं को स्वरोजगार और उद्यमिता को बढ़ावा देने के लिए आकांक्षी युवा का दर्जा दिया गया है। ताकि बेरोजगारी जैसे गंभीर मामले को भी सकारात्मक रूप से देखा जाए। लेकिन नाम बदलने के बाद भी आंकड़े बदस्तूर बढ़ते जा रहे है। प्रदेश में 7.23 करोड़ की आबादी के बीच बढ़ते रोजगार आकांक्षी युवाओं की संया चिंता का सबब है। हालांकि प्रदेश सरकार ने उद्योगों को बढ़ावा देते हुए रोजगार के नए अवसर सृजन करने के प्रयास जरूर किए हैं लेकिन अभी इसके सार्थक परिणाम नहीं दिखे। आगामी दिनों में बढ़ते उद्योगों से जरूर राहत मिलेगी।